पुस्तकें और पुस्तक समीक्षा

Term Path Alias

/sub-categories/books-and-book-reviews

पश्चिमी कोसी नहर परियोजना को पूरा किये जाने का अनुमान
Posted on 28 Aug, 2012 12:18 PM नेताओं और इंजीनियरों के बयान पर अगर विश्वास किया जाय तो इस योजना को 1980 में पूरा कर लिया जाना चाहिये था मगर यह समय हर साल दो-दो साल कर के आगे खिसकता है। आर्थिक दृष्टि से अगर देखें तो 2006 तक इस योजना पर 717.33 करोड़ रुपये खर्च हुये थे और तब इस योजना का एस्टीमेट, भले ही इसकी स्वीकृति न हुई हो, 904 करोड़ रुपये (1998) आंका गया था। यानी इस योजना पर अभी लगभग 200 करोड़ रुपये खर्च किया जाना बाकी है जिसस
पश्चिमी कोसी नहर और पर्यावरणीय प्रभाव का अध्ययन
Posted on 28 Aug, 2012 12:01 PM

आज की तारीख में पश्चिमी कोसी नहर कुछ चुनिन्दा लोगों की रोजी-रोटी का जरिया है जिसमें इंजीनियर,

पश्चिमी कोसी नहर की समस्याएं
Posted on 28 Aug, 2012 11:49 AM

यहां गांव वाले बताते हैं कि जब तक नहर पर यह पुल और उसका साइफन नहीं बना था तब तक भुतही बलान के

पश्चिमी कोसी नहर की वर्तमान स्थिति
Posted on 28 Aug, 2012 11:29 AM 1980 में पूरी कर ली जाने वाली पश्चिमी कोसी नहर का आज भी निर्माण चल रहा है। इसकी कार्य प्रगति की हालत इस तरह से है। परियोजना सूत्रों के अनुसार इस नहर के नेपाल भाग का निर्माण पूरा कर लिया गया है और भारतीय भाग में भी मुख्य नहर के निर्माण का कार्य (99 प्रतिशत) पूरा कर लिया गया है। वितरणियों तथा चक सीमाओं तक नहरें बनाने का काम 60 प्रतिशत तक पूरा हो चुका है मगर फ
एक और शिलान्यास
Posted on 28 Aug, 2012 10:59 AM

पश्चिमी कोसी नहर की अनुमानित लागत 154.06 करोड़ रुपये तक जा पहुँची थी जबकि उस पर हुआ खर्च केवल

भारदह से शुरू होने वाली पश्चिमी कोसी नहर की वापसी
Posted on 28 Aug, 2012 10:35 AM

1972 में केन्द्र सरकार ने प्रति वर्ष दो करोड़ रुपयों की व्यवस्था करने का दायित्व संभाला परन्तु

डगमारा बराज खारिज
Posted on 28 Aug, 2012 10:25 AM

पूना का रिसर्च स्टेशन, जहाँ डगमारा के बनने वाले बराज का मॉडल टेस्ट हो रहा था, वही संस्था थी जह

नहर की मांग में लोग सड़क पर उतरे
Posted on 28 Aug, 2012 10:19 AM

केन्द्रीय परिवहन मंत्रालय इस स्थल के पास वैसे भी कोसी पर एक पुल बनाने की सोच रहा था और बराज का

भारत की अपनी जमीन पर डगमारा बराज का प्रस्ताव
Posted on 28 Aug, 2012 10:12 AM

बिहार से सर्वेक्षण की रिपोर्ट अक्टूबर 1967 में केन्द्रीय जल और शक्ति आयोग को भेज दी गई थी जिसे

नहर निर्माण में नेपाल की रजामन्दी जरूरी
Posted on 28 Aug, 2012 09:55 AM लेकिन यह लोग पूर्वी कोसी मुख्य नहर के कमान में बसने वाले लोगों जैसे खुशनसीब नहीं थे। जो पश्चिमी नहर का प्रस्ताव था उसके अनुसार हेड-वर्क्स समेत नहर की पहली 35.13 किलोमीटर की लम्बाई नेपाल में पड़ती थी। इसलिए संसाधन और नीयत दोनों के बावजूद भारत सरकार यह नहर तब तक नहीं बना सकती थी जब तक कि नेपाल सरकार इस बात की इजाजत न दे दे। अंतर्राष्ट्रीय मसला होने के कारण यह
×