गोरखपुर जिला

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दिमागी बुखार से बचाव - मानव मल को पेयजल में मिलने से रोकें (Encephalitis prevention - excreta connection)
Posted on 20 Aug, 2017 12:58 PM
अमेरिका की संस्था सेंटर फॉर डिसीज कंट्रोल को केंद्र सरकार ने यहाँ भेजा। उसके शोध वैज्ञानिकों ने अनुमान लगाया कि टीके लगने के बाद अब जेई कम है, इसमें भी अधिकतर मामले जल-जनित हैं। लिहाजा, अब अधिक काम इसे रोकने का है। एईएस के दो मुख्य कारक हैं-मच्छर-जनित जापानी इन्सेफलाइटिस और जल-जनित एन्ट्रोवॉयरल इन्सेफलाइटिस। अभी आईसीएमआर और एनआईवी, पुणे के शोधों में स्क्रब टायफस का भी पता चला है। मच्छर
संदर्भ दिमागी बुखार - अब तो बदलना ही पड़ेगा
Posted on 20 Aug, 2017 10:25 AM

एक अध्ययन बताता है कि महँगा इलाज गरीबी बढ़ाने की अहम वजह है। इसका मतलब है कि अगर सरकार नय

दिमागी बुखार यानी इंसेफेलाइटिस - हर-साल की तबाही (Dimagi Bukhar Or Encephalitis - Every year's catastrophe)
Posted on 19 Aug, 2017 10:56 AM
गोरखपुर के बीआरडी मेडिकल कॉलेज अस्पताल में मस्तिष्क ज्वर पीड़ित मासूमों की अकाल मौतों ने देश को हिला कर रख दिया है। इसलिये बीमारी भले उनकी सांसें टूटने की पहली वजह बताई जाती रही हो, लेकिन ऑक्सीजन गैस सिलिंडर की जानबूझकर बनाई कमी ने उनको समय से पहले ही मार दिया। अब यह बचाव के लिये व्यर्थ की लीपापोती है कि बच्चे बीमारी से ही मरे। इसलिये अगर कोई कार्रवाई होती है तो उसके दो ही प्रस्थान-बिं
योगी और बालियान के गाँवों में हाँफ रही योजना
Posted on 07 Aug, 2016 10:40 AM
आदर्श गाँव घोषित होने के बाद 130 घरों में शौचालय बनवाए गए हैं
विज्ञान और कृषि का औद्योगिक रूप
Posted on 14 May, 2016 03:27 PM

देश में गन्ने पर आधारित चीनी उद्योग काफी विकसित दशा में है 1989-90 में 100 लाख टन से अधिक चीनी का उत्पादन करके भारत चीनी उत्पादन में विश्व में प्रथम स्थान पर आ गया है। गन्ने की वैज्ञानिक खेती की सफलता से न केवल चीनी उद्योग बल्कि गुड़ व खांडसारी उद्योग का तेजी से विकास हुआ है। इस उद्योग में लगभग 300 टन गुड़ तथा खांडसारी का उत्पादन होता है। इस उद्योग में लगभग 31 लाख लोगों को मौसमी रोजगार मिला हुआ है।

विज्ञान ही सम्भवतया मानव जाति का सबसे बड़ा पुरुषार्थ है और कृषि कार्य प्राकृतिक पद्धतियों के खिलाफ मानव की महान चुनौती। विज्ञान ने मनुष्य को इस चुनौती का हल खोजने की शक्ति एवं सामर्थ्य दे दी है। विज्ञान के जरिए भारतीय कृषि के परम्परागत और भाग्यवादी स्वरूप के स्थान पर नया व्यावसायिक और औद्योगिक स्वरूप विकसित करने में काफी हद तक सफलता मिली है। कृषि प्रधान भारत ने दुनिया के प्रथम दस औद्योगिक देशों में स्थान बना लिया है।

उद्योगीकरण


कहना न होगा कि कृषि और उद्योग एक दूसरे के लिये सर्वोत्तम योगदान कर सकते हैं। विकास प्रक्रिया में यह आवश्यक है कि कृषि-क्षेत्र बड़ी मात्रा में उद्योगों के लिये संसाधनों की आपूर्ति करे। अनेक विकसित देशों का अनुभव बताता है कि समृद्धि ने अधिक सीमा तक औद्योगीकरण मार्ग को सरल व तीव्रगामी बनाया है।
गंडक नहर परियोजना पर संकट के बादल
Posted on 22 Nov, 2015 05:03 PM

सहायक अभियंता एसपी सिंह का कहना है कि नहरों के गुलों की मरम्मत की जिम्मेदारी ग्राम पंचायत

महिलाओं ने संभाली कमान, चंदे से बनायेंगी एक दूसरे का शौचालय
Posted on 09 Nov, 2012 03:31 PM गोरखपुर के सहजनवा स्थित वार्ड न. एक में जब पुरुषों ने यह कह कर टॉयलेट बनाने की बात पर टाल-मटोल करनी शुरू की कि बहू-बेटियों के बाहर शौच जाने से उन पर बहुत फर्क नहीं पड़ता, तो गांव की महिलाओं का आत्म सम्मान जाग उठा। उसी दिन दर्जन भर महिलाओं ने ग्वालियर से गोरखपुर पहुंची निर्मल भारत यात्रा की टीम के साथ मीटिंग कर निश्चय किया कि शौचालय बनकर रहेगा इसके लिए उन्हें पुरुषों से परमीशन लेने की जरूरत नहीं है। यात्रा की आयोजक संस्था क्विकसैंड की इतिका व विवान ने उन महिलाओं को खुले में शौच जाने से होने वाले सामाजिक, आर्थिक नुकसान के साथ इसके कारण होने वाली बीमारियों के बारे में बताया तो जैसे उनकी आंखें ही खुल गई।
अब आजादी ढोते टांगिया
Posted on 27 Apr, 2012 11:31 AM

आज से कोई 90 बरस पहले वन क्षेत्रों में काम करवाने के लिए अंग्रेजों ने कुछ लोगों को गांव से उखाड़ कर वनों के बीच

अमृत का जहर हो जाना
Posted on 10 Mar, 2012 10:47 AM

गोरखपुर की महापौर अंजु चौधरी का कहना है कि नदी समस्या बन गई है। यहां के विकास अधिकारी नए-नए उद्योगों को नदी किना

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