जलवायु परिवर्तन

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Disappearing trees over Indian farmlands (Image Source: WOTR)
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Ocean ecosystem (Image: PxHere, CC0 Public Domain)
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गर्म होते महासागर
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A multifaceted approach to urban heatwaves (Image: Sri Kolari)
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Heat waves sweep across India (Image: Maxpixel, CC0 Public Domain)
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Rising temperatures, rising risks (Image: Kim Kestler, publicdomainpictures.net)
क्या पेरिस सम्मेलन से बदलाव आएगा
Posted on 26 Nov, 2015 10:47 AM अगले हफ्ते फ्रांस की राजधानी पेरिस में 30 नवम्बर से आगामी 11 दिसम्बर तक होने वाले जलवायु शिखर सम्मेलन से पर्यावरण में हो रहे प्रदूषण को कम करने और कार्बन उर्त्सजन को कम करने की दिशा में दुनिया को खासी उम्मीदें हैं। वह बात दीगर है कि पिछले दिनों पेरिस में हुए आतंकी हमले ने समूची दुनिया को हिला दिया है।
ईंधन, बिजली और कार्बन उत्सर्जन
Posted on 24 Nov, 2015 04:16 PM विकसित देशों के वैज्ञानिक, बिन पानी सिर्फ हवा से संयंत्रों को ठंडा
उत्तर तलाशता जलवायु प्रश्न
Posted on 21 Nov, 2015 10:20 AM पृथ्वी, एक अनोखा, किन्तु छोटा सा ग्रह है। अभी इसके बारे में ही हमारा विज्ञान अधूरा है। ऐसे में एक अन्तरिक्ष के बारे में सम्पूर्ण जानकारी का दावा करना या फिर जाने और कितने अन्तरिक्ष हैं; यह कहना, इंसान के लिये दूर की कौड़ी है।

सम्पूर्ण प्रकृति को समझने का दावा तो हम कर ही नहीं सकते; फिर भी हम कैसे मूर्ख हैं कि प्रकृति को समझे बगैर, उसे अपने अनुकूल ढालने की कोशिश में लगे हैं। कोई आसमान से बारिश कराने की कोशिश करने में लगा है, तो कोई प्रकृति द्वारा प्रदत्त हवा, पानी को बदलने की कोशिश में! क्या ताज्जुब की बात है कि इंसान ने मान लिया है कि वह प्रकृति के साथ जैसे चाहे व्यवहार करने के लिये स्वतंत्र है।
COP 20
शान्ति के लिये भी जरूरी है 'पेरिस जलवायु-सम्मेलन' की सफलता
Posted on 20 Nov, 2015 03:06 PM पवित्र जुम्मे का दिन शुक्रवार कलंकित हुआ है। तेरह नवम्बर 2015 अब इतिहास का हिस्सा है। दुनिया के सबसे खूबसूरत शहरों में शुमार पेरिस इस्लामी जिहाद का युद्ध मैदान बन चुका है। आतंकी कत्लेआम की भयावहता से हम सब आहत महसूस कर रहे हैं, साथ ही आईएसआईएस की बर्बरता गुस्सा भी दिला रहा है।

पूरी दुनिया एकजुट है आतंकवाद के बर्बर और हिंसक हमले के खिलाफ। इसी वातावरण के बीच 'पेरिस जलवायु शिखर सम्मेलन' होना है। लगता ऐसा है कि तीस नवम्बर से ग्यारह दिसम्बर तक चलने वाला 'पेरिस जलवायु-सम्मेलन' निराशा, बेबसी और क्रोध में फँस सकता है। पर जरूरी यह है कि शान्ति और विवेक से आतंकी-बर्बरता का जवाब भी दिया जाये और जलवायु परिवर्तन से होने वाले खतरों का सही जवाब भी खोजा जाये।
जलवायु परिवर्तन और आतंकवाद में पिसती दुनिया
Posted on 20 Nov, 2015 02:17 PM

जलवायु परिवर्तन के चलते मानव जीवन कई प्राकृतिक आपदाओं जैसे बाढ़, बेमौसम बारिश, सूखा, समुद

जलवायु परिवर्तन से निपटने में पनबिजली एक 'झूठा समाधान'
Posted on 16 Nov, 2015 12:47 PM

सन्दर्भ : कोप 21


पनबिजली परियोजनाओं के लिये बनने वाले बड़े बाँधों से निकलने वाली मीथेन समस्या ने पिछले 15 सालों के दौरान अन्तरराष्ट्रीय खबरों में हालांकि थोड़ी-बहुत जगह जरूर बनाई है। पर इसके ठीक उलट ‘कोप’ या अन्य पर्यावरण की नई चर्चाओं में मज़बूती से पनबिजली को जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिये हल के रूप में प्रस्तुत किया जा रहा है जिससे बड़े बाँधों से मीथेन उत्सर्जन और पर्यावरणीय प्रभाव की बहस को बेमानी कर दिया गया है।

इससे अब चिन्ता का मुद्दा यह निकलता है कि पनबिजली जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिये वाकई एक हल है या सिर्फ भ्रम? क्या जलवायु परिवर्तन कम करने के लिये पनबिजली परियोजनाओं की तरफ बढ़ना क्या सही है?
Hydro power plant
हरित परिवहन के साथ भविष्य की यात्रा
Posted on 13 Nov, 2015 10:44 AM परिवहन वैश्विक जलवायु परिवर्तन में बहुत ही महत्त्वपूर्ण कारक है। य
पर्यावरण सुधार के प्रति भारत की प्रतिबद्धता
Posted on 12 Nov, 2015 11:44 AM जलवायु परिवर्तन के संकट को देखते हुए भारत ने संयुक्त राष्ट्र संघ को भरोसा दिलाया है कि वह वर्ष 2030 तक कार्बन उत्सर्जन में 33 से 35 फीसदी तक कटौती करेगा। इसके अलावा अपनी अक्षय ऊर्जा उत्पादन क्षमता में 40 फीसदी तक का इज़ाफा करेगा।

ग़ौरतलब है इसी वर्ष 30 नवम्बर से 11 दिसम्बर तक पेरिस में होने वाले विश्व जलवायु सम्मेलन के पूर्व दुनिया के सभी देशों को कार्बन उत्सर्जन में कमी के अपने-अपने लक्ष्य प्रस्तुत करने हैं। भारत का मौजूदा लक्ष्य सन् 2020 तक 20 से 25 फीसदी कमी का था जो सन् 2010 तक 12 फीसदी पाया जा चुका है।

पेरिस के विश्व जलवायु सम्मेलन में विश्व पर्यावरण सन्धि सम्पन्न हो जाने की प्रबल सम्भावना है। भारत पहले से ही कहता रहा है कार्बन उत्सर्जन की अधिक मात्रा के चलते विकसित देशों की ज़िम्मेदारी ज्यादा है।
पर्यावरण सम्मेलन में भारत बनाएगा जीवनशैली को मुद्दा
Posted on 10 Nov, 2015 11:14 AM दिसम्बर माह विश्व पर्यावरण के इतिहास में मील का पत्थर बनने जा रहा है। फ्रांस की राजधानी पेरिस में विश्व भर के पर्यावरणविदों के साथ 190 देशों के सरकारों के प्रतिनिधि इसमें हिस्सा लेंगे। सम्मेलन 30 नवम्बर से 11 दिसम्बर तक यह सम्मेलन चलेगा।
COP 20
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