Posted on 05 Feb, 2010 09:48 AM फोटो साभार - चौथी दुनियाहिमालय को बचाना है. नदियों, पर्वतों और जंगलों को पैसों के लालची व्यापारियों की भेंट नहीं चढ़ने देना है. चाहे इसके लिए कुछ भी करना पड़े. गांधी शांति प्रतिष्ठान की अध्यक्ष राधा भट्ट के दिन रात आजकल इसी जद्दोज़हद में कट रहे हैं. वे लड़ रही हैं. उत्तराखंड की महिलाओं के साथ आंदोलन कर रही हैं.
Posted on 04 Feb, 2010 11:39 AMगंगाजल कभी खराब नहीं होता है। इसके पीछे वैज्ञानिक तथ्य यह है कि गौमुख से गंगोत्री तक की गंगायात्रा में हिमालय पर्वत पर उगी ढेर सारी जड़ी-बूटियां गंगा जल को स्पर्श कर अमृत बनाती हैं। साथ ही गंगा जल में बैट्रियाफौस नामक पाये जाने वाला बैक्टीरिया अवांछनीय पदार्थों को खाकर शुद्ध बनाये रखता है। और दूसरा बड़ा कारण है कि हिमालय की मिट्टी में गंधक होता है जो गंगा जल में घुलकर गंगा जल को शुद्ध बनाता है।
Posted on 25 Dec, 2009 02:34 PMओम प्रकाश भट्ट देश भर के गांधीवादी व पर्यावरण कार्यकर्ताओं ने नदियों के प्रवाह को उनके प्राकृतिक परिवेश में बनाये रखने का संकल्प लिया। नदियों की पवित्रता तथा पावनता को बनाये रखने व नदियों से पलने वाले लोगों के जीवन को बचाने के लिए पूरे देष में संघर्ष की रणनीति बनायी। यह तय किया गया कि वर्ष 2010 को ‘नदियों को मुक्त करो वर्ष’ के रूप में मनाया जायेगा।
Posted on 22 Dec, 2009 01:07 PMदेश के अन्य प्रांतों की तरह पर्वतीय भू-भागों में भी जल संरक्षण, संग्रहण और उपयोग की काफी भव्य परम्परा रही है। पहाड़ों में जल संग्रहण की प्राचीन व्यवस्था के तहत अनेक ढांचों का निर्माण किया गया। यहां इन्हें नौला, चपटौला, नौली, कुय्यो, धारा, मूल, कूल, बान आदि अनेक नामों से जाना जाता है। यहां अपना पानी अपना प्रबंध की सामूहिक भावना से पानी की शुद्धता और निरंतरता बनाए रखी जाती है।
Posted on 14 Dec, 2009 08:33 AMगंगा प्राधिकरण के सभी गैर सरकारी आठ सदस्यों ने एक सुर में सरकार से मांग की है कि गोमुख से उत्तरकाशी तक ‘नो प्रोजेक्ट जोन’ घोषित किया जाए। इसकी प्रतिक्रिया में उत्तरकाशी गंगा घाटी के गंगा पुत्रों ने ‘संकल्प’ नामक एक परचे में घोषित किया कि गंगा मुक्ति के लिए जनमोरचा बनाकर हरिद्वार में गंगा की अविरल धारा को मूल मार्ग नीलधारा, चंडीघाट से प्रवाहित करवाया जाएगा। और गंगा से निकाली गई नहरों को तोड़ने का आ
Posted on 30 Nov, 2009 10:12 AM5 दिसम्बर को फिर राष्ट्रीय गंगा नदी घाटी प्राधिकरण की बैठक होने वाली है। और उसमें रिपोर्ट देने के लिए ऊर्जा सचिव के साथ पर्यावरण एंव वन मंत्रालय के सचिव अपने पूरे अमले के साथ भागीरथी पर बंद पडे़ बांधो की समीक्षा करने वहां गये। 5 अक्तूबर 2009 को प्रधानमंत्री की अध्यक्षता वाले राष्ट्रीय गंगा नदी घाटी प्राधिकरण ने उत्तराखंड में भागीरथी नदी पर निमार्णाधीन लोहारीनाग-पाला बांध पर दो महिने के लिए स्थगित