A recent study finds that majority of the poor in India are likely to have open drains or no drainage systems to convey and treat their waste flows, threatening their health.
आपको जानकर हैरानी होगी कि जो चीनी और नमक हम खाते हैं, उनमें छोटे-छोटे प्लास्टिक यानी माइक्रोप्लास्टिक होते हैं। ये बात टॉक्सिक्स लिंक नाम के एक थिंक टैंक की स्टडी में सामने आई है। जिसके मुताबिक हम धीरे-धीरे थोड़ा-थोड़ा रोज प्लास्टिक खा रहे हैं।
उत्तराखंड को देश के चंद हरियाली वाले राज्यों के रूप में जाना जाता है. प्राकृतिक सुंदरता से भरपूर इसका हर इलाका लोगों को अपनी ओर आकर्षित करता रहता है. यही कारण है कि यहां के विभिन्न पर्यटक स्थलों पर वर्ष भर देश विदेश के पर्यटकों का तांता लगा रहता है. लेकिन अभी यही प्राकृतिक सुंदरता आग की भेंट चढ़ रही है जानिए क्या है कारण?
यूरोपीय संघ की कोपरनिकस जलवायु परिवर्तन सेवा (सी3एस) के अनुसार, 22 जुलाई को पृथ्वी ने कम से कम 84 वर्षों में अपना सबसे गर्म दिन अनुभव किया, जब वैश्विक औसत तापमान 17.15 डिग्री सेल्सियस के रिकॉर्ड उच्च स्तर पर पहुंच गया। यह एक दिन पहले 21 जुलाई को दर्ज किये गये 17.09 डिग्री सेल्सियस के पिछले रिकार्ड को पार कर गया। रोज ब रोज तापमान के नए रिकार्ड पर लेखक आशीष सिंह की एक टिप्पणी।
चुनावों के सन्दर्भ में हमारे युवा जलवायु परिवर्तन को लेकर क्या सोचते हैं? क्या वे जलवायु परिवर्तन को जरूरी चुनावी मुद्दा मानते हैं? इस सर्वे से जलवायु शिक्षा के स्तर का भी पता चलता है। 59% युवाओं को उनके स्कूलों-कॉलेजों में दी जा रही शिक्षा से जलवायु परिवर्तन के कारण और परिणामों के बारे में पर्याप्त और सही जानकारी नहीं मिलती
कहते हैं कि पानी की अपनी स्मृति होती है। वो अपने आसपास से स्मृतियों को समेट कर लंबे समय तक अपने पास रखता है। व्यक्ति या व्यवस्था भले ही अपनी सुविधा या हित के लिए भूल जाए मगर पानी याद रखता है कि यहां नदी थी‚ यहां नाला था‚ यहां से होकर वो बरसात में बहता था‚ और गर्मी और सर्दी वो लौट कर वापस कहां रु कता था। इसलिए पानी की स्मृति को अनदेखा कर उसकी राह में बाधा डालने की कवायद एक विलंबित विनाश का निमंत्रण देती है।
कई अध्ययनों से पता चला है कि जलवायु परिवर्तन से दुनिया भर के कई क्षेत्रों में बादल फटने की आवृति और तीव्रता में वृद्धि हुई है। हिमालयी क्षेत्र में बादल फटने की सबसे अधिक घटनाएँ देखी जा रही हैं, क्योंकि हिमालयी क्षेत्र में 'दशकीय तापमान वृद्धि' 'वैश्विक तापमान वृद्धि' की दर से अधिक है। हाल ही में किए गए एक मॉडलिंग अध्ययन से भी पता चला है कि भारत के पूर्वोत्तर में हवा में 'ब्लैक-कार्बन' की बढ़ती मात्रा बारिश बढ़ा रही है। एक्सट्रीम रेनफाल अब न्यू नार्मल घटना हो गई है। लापरवाही और आपदा लेख में हम जानते हैं कि क्या करना होगा?
How does climate change induced summer monsoon drying and winter warming affect groundwater abstraction and food production in India's food basket? A study explores.
While citizens need to play their part to prevent diseases such as Zika, municipal bodies/urban area authorities need to pull their socks up and set right the poor governance mechanisms that are slowly turning cities into hotbeds of diseases, filth and mismanagement.
इस बार केदारनाथ में आई आपदा ने 2013 की केदारनाथ आपदा की याद दिला दी है। केदारनाथ ही नहीं प्रदेश भर में आपदा से हो रहे नुकसान ने इस बात पर मुहर लगा दी है कि किसी ने भी पिछली आपदाओं से जनता के हित में कुछ सीख नहीं ली है। पर्यटन के नाम पर पहाड़ों में भारी भीड़ को न्यौता देने की नीति को उसने और जोर- शोर से अपना लिया है। आपदाओं के मसले पर लेखक की टिप्पणी
More than 70% of Indian districts are exposed to extreme rainfall events while over 84% are exposed to extreme heat wave and rising temperatures, as per an IPE Global and ESRI India Study