जाहिद खान
जाहिद खान
क्या मन में है मनरेगा
Posted on 11 Feb, 2016 09:30 AMमनरेगा को, जिसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बड़े ही हिकारत भरे अल्फाजों में महज गड्ढे खोद
खाद्य सुरक्षा कानून के अमल में कोताही क्यों
Posted on 05 Feb, 2016 09:52 AMभोजन न मिलने की वजह से देश में अब कोई भूखा नहीं मरेगा। अफसोस!
पेरिस जलवायु सम्मेलन का हासिल
Posted on 17 Dec, 2015 08:56 AMजलवायु परिवर्तन से मंडरा रहे खतरों को कम करने के लिये फ्रांस की राजधानी पेरिस में इकट्ठा हुए दुनिया के सभी 196 देश दो हफ्ते तक चली मैराथन बैठकों के बाद आखिरकार एक कानूनी बाध्यकारी सहमति पर पहुँच ही गए। ये पहली बार है, जब जलवायु परिवर्तन पर समझौते में कार्बन उत्सर्जन में कटौती पर सभी देशों में सहमति बनी है। ‘पेरिस समझौते’ नाम के 31 पन्नों वाले अंतिम मस
जलवायु सम्मेलन में भारत की भूमिका
Posted on 01 Dec, 2015 09:09 AMभारत जैसे-जैसे विकास करेगा, वैसे-वैसे उत्सर्जन भी बढ़ेगा। ऐसे में यदि उसने अपने ऊपर कोई ब
मनरेगा का मखौल क्यों
Posted on 04 Mar, 2015 11:44 AMलोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा करते हुए प्रधानमन्त्री नरेंद्र मोदी ने जिस तरह से महात्मा गाँधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारण्टी योजना यानी मनरेगा का मखौल उड़ाया, उससे उनकी मजदूर-किसान विरोधी मानसिकता ही उजागर हुई है। प्रधानमन्त्री को लगता है कि यह योजना गड्ढे खोदने और गड्ढे भरने से ज्यादा और कुछ नहीं है। योजना से देश और देश के लोगों को कोई फायदा नहभूमि अधिग्रहण कानून में संशोधन सामंती दौर की पुनर्वापसी
Posted on 22 Feb, 2015 10:22 AMइस वक्त देश में मोदी सरकार द्वारा किए गए भूमि अधिग्रहण कानून में संशोधन अध्यादेश के खिलाफ व्यापक घेराबन्दी शुरू हो चुकी है। इस मसले पर पहली बार राजनीतिक और गैर राजनीतिक संगठनों के बीच गहरी सहमति दिखाई दे रही है। बहुमत की सरकार होने के बाद जिस जल्दबाजी में मोदी सरकार ने अध्यादेश का सहारा लिया वह सरकार की नीति और नीयत पर बड़ा सवाल खड़ा कर रहा है। भूमि अधिग्रहण कानून में हुए संशोधन पर मोदी सरकार कदवाओं के कहर से जहर होती जमीन
Posted on 04 Jan, 2015 04:18 PMरासायनिक खादों और कीटनाशकों के ज्यादा इस्तेमाल से न सिर्फ इन्सान औरकैसे बहाल हो गंगा की पवित्रता
Posted on 13 Sep, 2014 01:50 PMगंगा को प्रदूषण मुक्त बनाने के लिए एक ऐसी योजना बनाने की जरूरत है, जिसके तहत पर्यावरणीय नियमों