दीपक रस्तोगी

दीपक रस्तोगी
सुंदरवन पर प्रकृति और प्रगति का प्रकोप
Posted on 22 Mar, 2012 03:30 PM

अभी हाल ही में यूनिसेफ और विश्व स्वास्थ्य संगठन ने अपनी ताजा रिपोर्ट में भारत की पीठ ठोकी है कि उसने सुरक्षित जल

बंगाल से बांग्लादेश तक हिल्सा डिप्लोमेसी
Posted on 22 Aug, 2011 03:09 PM

बंगाल और बांग्लादेश की नदियों में विचरतीं हिल्सा मछलियाँ स्थानीय जनमानस को गहरे स्तर पर प्रभाव

क्या कह रहे हैं ये मैनग्रोव
Posted on 14 Aug, 2011 09:10 AM

खारे और दलदली सुंदरवन के डेल्टा में उगने वाले मैनग्रोव एप्पल यानी चाक केवड़ा की एक प्रजाति के पौधे कोलकाता में गंगा तट पर दिखे हैं। विशेषज्ञ इसे प्रकृति की नाराजगी का संकेत मानकर शोध में जुट गए हैं ….

मीठे पानी की गंगा और गंगा के किनारे उगते मैनग्रोव एप्पल यानी चाक केवड़ा ! यह कैसे संभव है? खारे पानी वाले दलदली क्षेत्र में उगने वाला पेड़ मीठे पानी के दलदल में आखिर क्यों उग रहा है? कोलकाता में गंगा के किनारे हाल में उगे ढेरों मैनग्रोव के पेड़ दिखे हैं। फौरी तौर पर वैज्ञानिकों का यह मानना है कि चूंकि सुंदरवन के डेल्टा इलाकों में समुद्र के पानी का जलस्तर 33 सेंटीमीटर सालाना की दर से बढ़ रहा है और संभव है कि समुद्र का खारा पानी ज्वार के समय गंगा के पानी में घुल रहा हो। इसका प्रतिफल हो सकता है कि मैनग्रोव की प्रजाति कोलकाता में उगने लगी है। अगर ऐसा है तो इसके दूरगामी खतरों का अंदाजा भर लगाया जा सकता है।

सुंदरवन के डेल्टा क्षेत्र से लगभग सौ-सवा सौ किलोमीटर दूर कोलकाता के गंगा तट पर पिछले दो सौ वर्षों के शोध इतिहास में कभी मैनग्रोव दिखने की चर्चा नहीं आई। समुद्र
अवैध खनन का मायाजाल
Posted on 01 Aug, 2011 10:58 AM
कर्नाटक के लोकायुक्त एन.
आंकड़ों में सिमट कर रह गई सारी कवायद
Posted on 20 Jun, 2011 11:23 AM

बंगाल में हुगली बनकर प्रवेश करने वाली गंगा, खा़ड़ी के पास डेल्टा क्षेत्र में वन माफिया हावी है और पारिस्थिकी असंतुलन के ढेर सारे संकेत भविष्य के किसी ब़ड़े खतरे की चेतावनी दे रहे हैं। सरकारी स्तर पर डेल्टा क्षेत्र के संकट को अभी तक अनदेखा किया जाता रहा है। कोलकाता और आसपास के उपनगरों से लगभग 5270 लाख लीटर कचरा रोजाना गंगा की गोद में बहाया जा रहा है, जिसमें से 80 फीसदी कचरे की सफाई भी नहीं हो पा र

River
राहत कोष की बंदरबांट
Posted on 26 Jul, 2010 04:29 PM

पश्चिम बंगाल का कुलतली इलाका। यहां 30 वर्ष से रहता आया अनिल नस्कर का परिवार तीन महीने पहले सड़क पर आ गया। मछली के कारोबार पर निर्भर इस परिवार के पास कभी तीन एकड़ की एक झील हुआ करती थी पर बंगाल की खाड़ी में पिछले साल आए चक्रवाती तूफान आएला ने उस झील को नमक मिले पानी से ऐसा खराब किया
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