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झीलें, तालाब और आर्द्रभूमि
दक्षिण भारत के अर्द्ध शुष्क क्षेत्र में पारम्परिक तालाबों पर जल ग्रहण विकास कार्यक्रम का प्रभाव: एक समीक्षा
Posted on 07 Jul, 2023 01:57 PMसारांश
भारत एक कृषि प्रधान देश है जिसकी 75 प्रतिशत से अधिक जनसंख्या गांवों में रहती है। इन लोगों की जरी जावश्यकताओं को पूरा करने के लिये जल संसाधनों का सही तरीके से पूरा विकास किया जाना चाहिये जन संसाधनों के सही तरीके से पूरा विकास किया जाना चाहिए। जल संसाधनों के विकास में उस क्षेत्र की भौगोलिक स्थिति, मौसम तंत्र, मृदा, वनस्पति व अन्यः जरूरतों को ध्यान में र
![दक्षिण भारत के अर्द्ध शुष्क क्षेत्र में पारम्परिक तालाबों पर जल ग्रहण विकास कार्यक्रम का प्रभाव,फोटो क्रेडिट: विकिपीडिया](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-07/%E0%A4%A6%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%B7%E0%A4%BF%E0%A4%A3%20%E0%A4%AD%E0%A4%BE%E0%A4%B0%E0%A4%A4%20%3B%E0%A4%AA%E0%A4%BE%E0%A4%B0%E0%A4%AE%E0%A5%8D%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A4%BF%E0%A4%95%20%E0%A4%A4%E0%A4%BE%E0%A4%B2%E0%A4%BE%E0%A4%AC%E0%A5%8B%E0%A4%82%20%E0%A4%AA%E0%A4%B0%20%E0%A4%9C%E0%A4%B2%20%E0%A4%97%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A4%B9%E0%A4%A3%20.png?itok=_q6aeyS9)
सूख चुके है सदियों से प्यास बुझाने वाले तालाब
Posted on 03 Apr, 2023 03:10 PMसैकड़ों-हजारों तालाब अचानक शून्य से प्रकट नहीं हुए थे। इनके पीछे एक इकाई थी बनवाने वालों की, तो दहाई थी बनाने वालों की। यह इकाई, दहाई मिलकर सैकड़ा, हजार बनती थी। पिछले दो सौ बरसों में नए किस्म की थोड़ी सी पढ़ाई पढ़ गए समाज ने इस इकाई, दहाई, सैकड़ा, हजार को शून्य ही बना दिया।" जल पुरुष अनुपम मिश्र की पुस्तक 'खरे हैं तालाब' में लिखी ये पंक्तियां आज के मनुष्य पर चोट करती हैं, जो आधुनिकता की अंधी द
![सूख चुके है सदियों से प्यास बुझाने वाले तालाब,Pc-Iwpflicker](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-04/%E0%A4%B8%E0%A5%82%E0%A4%96%20%E0%A4%9A%E0%A5%81%E0%A4%95%E0%A5%87%20%E0%A4%B9%E0%A5%88%20%E0%A4%B8%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%AF%E0%A5%8B%E0%A4%82%20%E0%A4%B8%E0%A5%87%20%E0%A4%AA%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A4%BE%E0%A4%B8%20%E0%A4%AC%E0%A5%81%E0%A4%9D%E0%A4%BE%E0%A4%A8%E0%A5%87%20%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%B2%E0%A5%87%20%E0%A4%A4%E0%A4%BE%E0%A4%B2%E0%A4%BE%E0%A4%AC.png?itok=BlJnTtTq)
पन्ना में ऐतिहासिक तालाबों का अस्तित्व संकट में
Posted on 03 Mar, 2023 03:34 PMमध्यप्रदेश के पन्ना में पुरखों के बनाए दर्जनों तालाब अपने अस्तित्व की लड़ाई लड़ रहे हैं. कभी पन्ना अपने यहाँ समृद्ध तालाबों की परम्परा के लिए खासी पहचान रखता था. शहर और उसके आसपास बरसाती पानी को सहेजने के लिए दर्जनों बड़े तालाब बनवाए गए थे.
![बेनीसागर तालाब,Pc-मनीष वैद्य](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-03/%E0%A4%AC%E0%A5%87%E0%A4%A8%E0%A5%80%E0%A4%B8%E0%A4%BE%E0%A4%97%E0%A4%B0%20%E0%A4%A4%E0%A4%BE%E0%A4%B2%E0%A4%BE%E0%A4%AC%20.png?itok=7KCX2ybb)
एनजीटी ने मसूरी झील के व्यावसायिक प्रयोग पर लगाई रोक
Posted on 08 Feb, 2023 12:22 PMनेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने होटलों द्वारा मसूरी झील से अवैध रूप से पानी निकालने पर नाराजगी जताई है और उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (यूपीसीबी) और जिला मजिस्ट्रेट को टैंकरों के माध्यम से व्यावसायिक उपयोग के लिए झील के पानी की आपूर्ति बंद करने का आदेश दिया है। ग्रीन ट्रिब्यूनल ने पहले झील से पानी की अनियमित निकासी के प्रतिकूल प्रभाव का आकलन करने के लिए एक समिति का गठन किया था क्योंकि माना जा रहा
![मसूरी झील, (PC- holidify)](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-02/%E0%A4%AE%E0%A4%B8%E0%A5%82%E0%A4%B0%E0%A5%80%20%E0%A4%9D%E0%A5%80%E0%A4%B2.jpg?itok=0bK7R2eR)
गौतमबुद्ध नगर बन रहा तालाबों की कब्रगाह, एनजीटी खोज रहा तालाब
Posted on 06 Jan, 2023 01:27 PMगौतमबुध नगर में हैं 1000 तालाब , लगभग 171 तालाबों पर अवैध कब्जा। अधिकारियों को तालाबों पर हो रहे कब्जों की थी जानकारी, नहीं की कार्रवाई। नोएडा प्राधिकरण व प्रशासन के अधिकारियों की घोर लापरवाही आई है सामने। वर्षा जल संचय व भूजल रिचार्ज का सबसे सशक्त माध्यम तालाबों को माना जाता है। एक हजार तालाबों के साथ गौतमबुद्ध नगर मजबूत स्थिति में है, लेकिन भू-माफिया व अतिक्रमण करने वालों की नजरें तालाब को जम
![तालाब। फोटो साभार - रामवीर तंवर](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-01/Noida-Talab1_0.jpg?itok=cVbXo1rf)
नालंदा, बिहार के बरही बिगहा में गैरमजरुआ भूमि (गड्ढा) तालाब पर से अतिक्रमण हटाने की हुई कार्रवाई
Posted on 05 Jan, 2023 02:30 PMनालंदा, बिहार। 13 महीनों के लंबे संघर्षों के बाद 4 जनवरी 2023 को तालाब से अवैध कब्जे हटाने के लिए कार्रवाई हुई। ग्राम+पोस्ट- बरही बिगहा, थाना- चिकसौरा, जिला नालंदा के मौजा- बरही बिगहा, थाना संख्या- 91, खाता संख्या-104, खसरा संख्या-234 एवं रकबा-23 डिसमिल गैरमजरुआ आम जमीन (गड्ढा) यानी तालाब के रूप में बिहार सरकार के नाम पर खतियान में दर्ज है। अब तालाब गायब है। तालाब पर भरपूर कब्जा है। बरही बिगहा
![13 महीनों के लंबे संघर्षों के बाद ग्राम- बरही बिगहा के अतिक्रमणकारियों पर हुई कार्रवाई।](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-01/Nalnda-Talab.jpg?itok=OP6Zlt33)
नालंदा, बिहार के बरही बिगहा में गैरमजरुआ भूमि (गड्ढा) तालाब पर से अतिक्रमण हटाने की हुई कार्रवाई
Posted on 05 Jan, 2023 02:30 PMनालंदा, बिहार। 4 जनवरी 2023 को तालाब से अवैध कब्जे हटाने के लिए हुई कार्रवाई की हुई। ग्राम+पोस्ट- बरही बिगहा, थाना- चिकसौरा, जिला नालंदा के मौजा- बरही बिगहा, थाना संख्या- 91, खाता संख्या-104, खसरा संख्या-234 एवं रकबा-23 डिसमिल गैरमजरुआ आम जमीन (गड्ढा) यानी तालाब के रूप में बिहार सरकार के नाम पर खतियान में दर्ज है। अब तालाब गायब है। तालाब पर भरपूर कब्जा है। बरही बिगहा के निवासी सुधांशु कुमार के
![13 महीनों के लंबे संघर्षों के बाद ग्राम- बरही बिगहा के अतिक्रमणकारियों पर हुई कार्रवाई।](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-01/Nalnda-Talab.jpg?itok=OP6Zlt33)
झांसी के 82 एकड़ के प्राचीन लक्ष्मी-तालाब और 490 एकड़ के नगर-पार्क के अतिक्रमण पर कार्यवाही न करने पर', NGT नाराज
Posted on 04 Jan, 2023 11:56 AMझांसी। सरकार से लगातार अतिक्रमण की शिकायत से थक-हारकर एनजीटी के दरवाजे पर जाना मजबूरी बन गई है। झांसी के गिरजा शंकर राय, एडवोकेट बी.एल.
![सुना है, लक्ष्मी तालाब की सुंदरता पर करोड़ों कर्च हो चुके हैं। फोटो साभार- झांसी फोटोज](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-01/Laxmi-Talab-Jhansi.jpg?itok=mlhGidcd)
अब उन खरे तालाबों की खोज कौन करेगा?
Posted on 02 Jan, 2023 12:23 PMअनुपम मिश्र या हम सबके पमपम अब हमारे बीच नहीं हैं। वे चुपचाप चले गए। अनुपम का जिंदगी को जीने का तरीका भी यही था। टायर के सोल वाली रबर की चप्पल पहनकर जब ये चलते थे तो उनके पैर आवाज नहीं करते थे। अनुपम अपने सारे काम चुपचाप रहकर करते रहते थे। चुप रहकर काम करने को अनुपम ने अपने स्वभाव में कुछ इस तरह से पिरो लिया था कि अपने अंदर की 'तकलीफों को भी उन्होंने और किसी के साथ कभी नहीं बांटा।
![अनुपम मिश्र, गांधी शांति प्रतिष्ठान में। फोटो - सिविल सोसाइटी, लक्ष्मण आनंद](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/2023-01/water_guru.869x568.jpg?itok=4HUKIPAm)
बलिया जिला का सुरहा ताल, जलसंपदा का प्राकृतिक संजाल
Posted on 10 Nov, 2022 02:59 PMसुरहा ताल परिचय
सुरहा ताल या सुरहा झील गंगा और सरयू के दोआब में स्थित एक गोखुर झील है जो गंगा नदी द्वारा निर्मित है। यह उत्तर प्रदेश के अंतिम छोर पर बसे बलिया जनपद के मुख्यालय से करीब 13 किलोमीटर की दूरी पर 2549 वर्ग हेक्टेयर के विशाल भू-भाग में फैला प्राकृतिक झील ‘सुरहा ताल’ अपने अंदर अपार संभावनाओं को समेटे हुए है। यह सुरहा ताल गंगा और सरयू के दोआब में स्थित एक गोखुर झील है जो
![बलिया जिला का सुरहा ताल, फोटो-India water portal Flicker](/sites/default/files/styles/featured_articles/public/hwp-images/Surha_Tal.jpg?itok=FuCAHzLt)