साइंस में नए इनोवेशन से बदलेगी दुनिया

दुनिया भर की प्रयोगशालाओं से निकल रही नई तकनीकें आने वाले समय में लोगों के रहने और सोचने के तरीकों में भारी बदलाव कर सकती हैं। आईबीएम ने ऐसी कुछ चुनिंदा तकनीकों और इनोवेशंस के बारे में खुलासा किया है। अगले पांच वर्षों में ऐसे 3- डी डिवाइस बाजार में आ जाएंगे, जिनके जरिए आप अपने परिचितों और मित्रों के 3- डी होलोग्राम के साथ वास्तविक समय में इंटरैक्ट कर सकेंगे। सिनेमा और टीवी जगत धीरे-धीरे 3- डी फॉर्मेट की तरफ बढ़ रहा है। 3- डी तकनीकों में लगातार सुधार हो रहा है और होलोग्राफिक कैमरों के उन्नत होने से नई संभावनाएं पैदा हो रही हैं। ऐसे सूक्ष्म कैमरों को मोबाइल फोनों में फिट किया जा सकता है। इस इनोवेशन का नतीजा यह होगा कि आप बिल्कुल नए अंदाज में नेटसर्फिंग और अपने दोस्तों के साथ चैटिंग कर सकेंगे।

गैजेट विदाउट बैटरी


क्या आप नहीं चाहते कि आपका लैपटॉप बैटरी को रीचार्ज किए बिना पूरे दिन काम करता रहे, या आपके जेब में रखे मोबाइल फोन को चार्ज करने की जरूरत ही न पड़े? इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स की बैटरियों का जीवनकाल बढ़ाना वैज्ञानिकों के लिए एक बड़ी चुनौती है। अगले पांच वर्षों में ट्रांजिस्टरों और बैटरी टेक्नोलॉजी में होने वाले नए सुधारों की बदौलत आपके डिवाइस आज की तुलना में 10 गुना ज्यादा देर तक काम कर सकेंगे। हो सकता है कि कुछ छोटे उपकरणों में बैटरी पूरी तरह गायब ही हो जाए। इन दिनों इस्तेमाल हो रही हैवी लिथियम आयन बैटरी के स्थान पर वैज्ञानिक ऐसी बैटरी पर काम कर रहे हैं, जो ऊर्जा - प्रधान धातु से रिएक्शन के लिए उसी हवा का इस्तेमाल करेंगी जिसमें हम सांस लेते हैं। यदि यह प्रयोग सफल रहा तो हमें एक लाइटवेट और पावरफुल रीचार्जेबल बैटरी मिल जाएगी। इस बैटरी का इस्तेमाल इलेक्ट्रिक कारों से ले कर इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों तक हर चीज में किया जा सकेगा।

क्वीक वॉच


यदि आपके पास लैपटॉप है तो उसका उपयोग भूकंपीय गतिविधि का पता लगाने के लिए भी किया जा सकता है। लैपटॉप को दूसरे कंप्यूटरों के नेटवर्क के साथ जोड़ने पर उसका इस्तेमाल प्राकृतिक विपदाओं के समय राहतकर्मियों के लिए प्राथमिकताएं तय करने के लिए भी किया जा सकता है। आईबीएम ने हाल ही में एक ऐसी तकनीक पेटेंट कराई है जिसके जरिए भूकंप जैसी घटनाओं का सटीक विश्लेषण किया जा सकता है और सूनामी की पूर्व चेतावनी दी जा सकती है। मोबाइल फोनों के लिए ऐसी एप्लिकेशंस तैयार की जा रही हैं जिनकी मदद से लोग पेयजल की क्वॉलिटी या शहर में शोर प्रदूषण के बारे में बहुमूल्य आंकड़े एकत्र कर सकते हैं। अभी पश्चिम में क्वीक वॉच नामक एक एप्लिकेशन उपलब्ध है जिससे लोग किसी जलधारा या नदी के बारे में ब्यौरा एकत्र करते हैं और उनके बारे में तीन सरल सवालों का जवाब देते हैं। यह डेटा अपने आप स्थानीय जल विभाग के पास पहुंच जाता है।

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