लखनऊ नगर में गोमती नदी के प्रदूषण नियंत्रण हेतु गोमती कार्य योजना

गोमती नदी लखनऊ नगर को दो हिस्सों में बांटते हुए लगभग मध्य भाग से गुजरती है। गोमती नदी के दोनों तटों पर बांध बनाए गए हैं जिस पर स्लुइस गेट लगाए गए हैं, जिससे कि वर्षा ऋतु में नदी का जल शहर के अंदर न जा सके। लखनऊ शहर के कुल 26 नाले गोमती नदी में सीधे मिलते हैं। इन 26 नालों में से 14 नालें सिस गोमती साइड में तथा 12 ट्रांस गोमती साइड में है, लखनऊ शहर की पेयजल की पूर्ति हेतु गोमती नदी से जल प्राप्त किया जाता है तथा समुचित मात्रा में जल प्राप्त करने के उद्देश् से बालू अड्ढ़ें के पास बैराज का निर्माण कराया गया है। उपरोक्त 26 नालों में से 23 नालें बैराज के अपस्ट्रीम मे तथा 3 नालें बैराज के डाउन स्ट्रीम में स्थित है।

गोमती नदी को घरेलू सीवरेज से मुक्त करने हेतु गोमती कार्य योजना का प्रारम्भ भारत सरकार के वन एवं पर्यावरण मंत्रालय के सहयोग से वर्ष 1993 में प्रारंभ किया गया है। प्रारम्भिक वर्ष में योजना का प्रारूप तैयार कर भारत सरकार को भेजा गया और भारत सरकार द्वारा 1995 में रू. 50.00 करोड़ की धनराशि की स्वीकृति प्रदान की गई। वर्ष 1995 से वर्ष 1999 तक प्रारम्भिक चरण के ही कार्य किए गए जिसमें वर्तमान सीवरों की सफाई एवं गऊ घाट सीवरेज पम्पिंग स्टेशन का निर्माण कार्य आदि सम्मिलित थे तथा इन कार्यों पर लगभग रु. 7.00 करोड़ का व्यय हुआ।

वर्ष 1998-99 में यह निर्णय लिया गया कि अवशेष रु. 43.00 करोड़ की धनराशि से गोमती कार्य योजना प्रथम चरण के कार्य स्वीकृत किए जाएं;

गोमती कार्य योजना प्रथम चरण


प्रथम चरण के अंतरगत 6 नालों नगरिया, सरकटा, पाटा, वजीरगंज, घसियारीमंडी एवं कुकरैल नालें के इंटरसेप्टर, दौलतगंज में 42 एमएलडी एसटीपी का निर्माण तथा सिस गोमती एवं ट्रांस गोमती पम्पिंग स्टेशन से जाने वाली राइजिंग मेन का पुनः निर्माण/सुदृढ़ीकरण का कार्य लिया गया था। गऊ घाट, नगरिया, सरकटा एवं पाटा नाले के स्राव को परिवर्तित कर उसे दौलतगंज में निर्मित 42 एमएलडी एसटीपी पर भेजने का कार्य एवं एसटीपी का निर्माण कार्य को दिसंबर 2002 में पूर्ण कर चालू कर दिया गया। जो 2002 से निरंतर कार्यशील हैं। जिससे 42 एमएलडी (लगभग 10%) सीवरेज का शोधन प्रारम्भ कर दिया गया था। प्रथम चरण के अंतर्गत ही वजीरगंज एवं घसियारी मंडी नालों के डिस्चार्ज को इंटरसेप्ट डायवर्ट कर पूर्व में पड़ी 2100 मिमी. व्यास की सीवर के माध्यम से सीवरेज पम्पिंग स्टेशन पर पहुंचा दिया गया जिससे कि गऊ घाट से शहीद स्मारक तक की नदी को स्वच्छ किया जा सका। प्रथम चरण की 2 योजनाएं कुकरैल नालों के इंटरसेप्शन एवं डायवर्जन के कार्य तथा सिस गोमती पम्पिंग स्टेशन एवं ट्रांस गोमती पम्पिंग स्टेशन से डाली गई राइजिंग के शुद्धिकरण के कार्य की योजना वर्ष मार्च 2003 में स्वीकृति की गई। जिनके कार्य वास्तव में 2006-07 में प्रारम्भ हो सके।

गोमती कार्य योजना द्वितीय चरणः-


गोमती नदी में गिरने वाले शेष 19 नालों के इंटरनसेप्शन एवं डायवर्जन, पूर्व में निर्मित पम्पिंग स्टेशनों के शुद्धिकरण, सीवर लाइनों के शुद्धिकरण, एसटीपी का निर्माण तथा अन्य कार्यों (कुल 30 कार्य) की योजना रु. 263.04 करोड़ की स्वीकृति भारत सरकार द्वारा जून-03 में प्रदान की गई। इन योजनाओं के कार्य भी भूमि न प्राप्त होने के कारण प्रारम्भ में बाधित रहें तथा मुख्य-मुख्य कार्य वर्ष 2005 -06 में प्रारम्भ किए जा सके।

प्रथम चरण के अंतर्गत मुख्य रूप से निर्मित होने वाले कुकरैल सीवेज पम्पिंग स्टेशन तथा द्वितीय चरण में निर्मित होने वाले जीएच कैनाल सीवरेज पम्पिंग स्टेशन तथा सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट की भूमि वर्ष 2008 में प्राप्त हो सकी, जिससे इन कार्यों एवं सम्बंधित अन्य कार्यों जैसे कुकरैल एवं जीएच कैनाल तथा मुख्य पम्पिंग स्टेशन से डाली जाने वाली राइजिंग मेन का कार्य बाधित रहे एवं 2008 में प्रारंभ कराया जा सके। ये समस्त कार्य 2010 एवं 2011 में पूर्ण किए गए हैं।

लखनऊ नगर में मिलने वाले 26 नालों में से 4 नालों (गऊ घाट, नगरिया, सरकटा एवं पाटा) के स्राव लगभग 56 एमएलडी को दौलतगंज स्थित सीवरेज शोधन संयंत्र, कुल क्षमता 56 (42+14 जेएनएनयूआरएम कार्यक्रम में निर्मित) एमएलडी पर शोधित किया जाता है। शोधन उपरांत शोधित स्रव गोमती नदी में पुनः मिला दिया जाता है।

शेष 22 नालों में से ट्रांस गोमती साइड के 12 नालं (रुपपुर खदरा, मोहन मिकिंस, डालीगंज नं.-1, बाबू का पुरवा एवं कुकरैल नालों पर पंपिंग स्टेशन का निर्माण कर एवं महेशगंज, डालीगंज नं.-2, आर्ट्स कालेज, हनुमान सेतु, टीजीपीएस नाला, केदारनाथ तथा निशातगंज को ग्रेविटी द्वारा) के स्राव को इंटरसेप्ट एवं डयवर्ट कर टीजीसी सीवेज पम्पिंग स्टेशन पर लाया जाता है वहां से पम्प कर समस्त स्राव को कुकरैल सीवेज पम्पिंग स्टेशन पर पहुंचाया जाता है। इसी प्रकार सिस गोमती साइड के 6 नालों (एनईआर अप स्ट्रीम, एनईआर डाउन स्ट्रीम, वजीरगंज, घसियारी मंडी, चाइना बाजार तथा लाप्लास) पर पम्पिंग स्टेशन का निर्माण कर इनके स्राव को इंटरसेप्ट एवं डायवर्ट कर सिस गोमती ट्रंक सीवर के माध्यम से सिस गोमती सीवेज पम्पिंग स्टेशन पर पहुंचाया जाता है। जहां से सीवेज को पम्प कर राइजिंग के माध्यम से कुकरैल पम्पिंग स्टेशन पर निदांक 06.07.2011 से भेजा जा रहा है। गोमती नदी में गिरने वाले शेष नालों (जापलिंग रोड, जीएच कैनाल, जीयामऊ एवं लामार्ट) नालों के श्राव को पम्पिंग स्टेशन का निर्माण कर एवं इंटरसेप्ट एवं डायवर्ट कर जीएच कैनाल सीवेज पम्पिंग स्टेशन पर पहुंचाया जाता है।

जीएच कैनाल सीवेज पम्पिंग स्टेशन पर प्राप्त होने वाले स्राव को 1400 मिमी. व्यास की 3950 मी. राइजिंगमेन के माध्यम से तथा कुकरैल सीवेज पम्पिंग स्टेशन पर प्राप्त होने वाले समस्त स्राव को 180 मिमी. व्यास की 4100 मी. राइजिंग मेन माध्यम से गोमती नगर में ग्वारी कल्वर्ट के पास निर्मित मुख्य सीवेज पम्पिंग स्टेशन पर पहुंचाया जाता है। मुख्य सीवेज पम्पिंग स्टेशन पर प्राप्त होने वाले समस्त स्राव (लगभग 300 एमएलडी) को पम्प कर 2100 मिमी. व्यास की 5800 मी. राइजिंग मेन के द्वारा भरवारा में निर्मित यूएएसबी तकनीक पर आधारित 345 एमएलडी एसटीपी पर पहुंचाया जा रहा है। एसटीपी पर पहुंचने वाले समस्त स्राव केो शोधन के उपरांत शोधित स्राव को 2400 मिमी. व्यास की सीवर लाइन के माध्यम से नदी में पुनः मिला दिया जाता है।

गोमती कार्य योजना के अंतर्गत नालों की वर्तमान स्थिति


क्रं.सं.

नाले का नाम

वर्तमान अनुमानित स्राव (एम.एल.डी)

सीवेज शोधन हेतु एसटीपी

टिप्पणी

(अ)

सिस गोमती साइड

 

 

 

1

गऊघाट

4.00

42 एमएलडी एसटीपी दौलतगंज

 

2

नगरिया

12.00

-तदैव-

 

3

सरकटा

24.00

-तदैव-

 

4

पाटा

12.00

-तदैव-

 

 

योग

52.00

 

 

5

वजीरगंज

36.00

345 एमएलडी एसटीपी भरवारा

 

6

घसियारी मंडी

14.00

-तदैव-

 

7

एन.ई.आर. अपस्ट्रीम

0.00

-तदैव-

 

8

एन.ई.आर. डाउन स्ट्रीम

3.50

-तदैव-

 

9

चाइना बाजार

1.50

-तदैव-

 

10

लालप्लास

4.00

-तदैव-

 

11

जापलिंग रोड

2.00

-तदैव-

 

12

जी.एच. कैनाल

105.00

-तदैव-

 

13

जीयामऊ

1.00

-तदैव-

 

14

लामार्ट

1.00

-तदैव-

 

(ब)

ट्रांस गोमती साई

 

-तदैव-

 

15

महेश गंज

4.50

-तदैव-

 

16

रूपपुर खदरा

5.00

-तदैव-

 

17

माहन मिकिंस

6.50

-तदैव-

 

18

डालीगज नं.-1

8.20

-तदैव-

 

19

डालीगंज नं.-2

2.50

-तदैव-

 

20

आर्ट्स कॉलेज

2.40

-तदैव-

 

21

हनुमान सेतु

3.50

-तदैव-

 

22

टीजीपीएस

4.50

-तदैव-

 

23

केदार नाथ

3.10

-तदैव-

 

24

निशातगंज

2.00

-तदैव-

 

25

बाबा का पुरवा

0.10

-तदैव-

 

26

केकरैल

95.00

-तदैव-

 

 

योग

305.30

 

 

 

कुल योग

357.30

 

 

 

गोमती नगर क्षेत्र का स्राव

35.00

-तदैव-

 

 

महा योग

392.30

 

 

 



कार्यालय महाप्रबंधक, गोमती प्रदूषण नियंत्रण इकाई, उ.प्र. जल निगम, लखनऊ मोमती नदी में मिलने नालों के डायवर्जन की वर्तमान स्थिति
अद्यतन स्थिति दिं. 18.07.2011

क्र.सं.

नाले का नाम

नालों के डायवर्जन की स्थिति

(अ)

सिस गोमती साईड

 

1

गऊघाट

जलसंस्थान द्वारा पंप कर सरकटा नाले में मिलाया जाता है।

2

नगरिया

योजना के डायवर्जन का रखरखाव किया जा रहा है। डिस्चार्ज 56 (42+14) एम.एल.डी. एस.टी.पी. पर लाकर ट्रीटमेंट किा जा रहा है।

3

सरकटा

-तदैव-

4

पाटा

-तदैव-

5

एन.ई.आर. अपस्ट्रीम

अपस्ट्रीम का स्राव डाउनस्ट्रीम में मिल गया है।

6

एन.ई.आर. डाउनस्ट्रीम

डायवर्जन कर पंपिंग द्वारा सिस गोमती ट्रंक सीवर में मिलाकर सी.जी.पी.एस. पर लाया जा रहा है।

7

वजीरगंज

-तदैव-

8

घसियारी मंडी

-तदैव-

9

चायना बाजार

-तदैव-

10

लाप्लास

-तदैव-

11

जापलिंग रोड

दि. 5.5.11 तक कार्य पूर्ण कर चालू कर स्राव को जी.एच. कैनाल में मिला दिया गया है।

12

जी.एच. कैनाल

डाइवर्जन कार्यशील है। डिस्चार्ज 345 एम.एल.डी. एस.टी.पी. पर लाकर शोधित किया जा रहा है।

13

लामार्ट

डिस्चार्ज ग्रेविटी से डाइवर्ट कर जियामाऊ एस.पी.एस. के सम्प में भेजा जाता है।

14

जियामऊ

डायवर्जन कार्यशील है। स्राव को पंप कर जी.एच. कैनाल में मिलाया जाता है। वर्तमान में राइजिंगमैन क्षतिग्रस्त है। आर.आर.एन. से धन प्राप्त होने पर कार्य किया जाता है।

(ब)

ट्रांस गोमती साईड

 

15

महेश गंज

सीवर के माध्यम से नाले को डाइवर्ट कर रूपपुर खदरा एस.पी.एस. पर मिला दिया गया।

16

रूपपुर खदरा

पंप को चलाकर डिस्चार्ज को मोहन मीकिंस एस.पी.एस. पर भेजा गया है।

17

मोहन मीकिंस

दि. 30.4.11 को डाइवर्जन कराकर डिस्चार्ज टी.जी.टी,एस के सम्प में पहुंचा दिया गया।

18

डालीगंज नं.1

डाइवर्जन कार्य पूर्ण । संप से पंप कर टीजीपीएस पर पहुंचा दिया गया है

19

डालीगंज नं.2

चालू कर डिस्चार्ज को टीजीपीएस पर पहुंचा दिया गया है।

20

आर्टस कॉलेज

डायवर्ट कर टी.जी.टी.एस. सीवर में मिला दिया गया है।

21

हनुमान सेतु

-तदैव-

22

टी.जी.पी.एस. नाला

डायवर्ट कर डिस्चार्ज को टी.जी.पी.एस पर पहुंचा दिया गया है।

23

केदारनाथ

चालू कर दिया गया है। डिस्चार्ज को टी.जी.एस.पी.एस. पर पहुंचा दिया गया है।

24.

निशांतगंज

-तदैव-

25

बाबा का पुरवा

डिस्चार्ज पंपिंग के माध्यम से कुकरैल नाले में भेजा जाता है।

26

कुकरैल

नाले का डिस्चार्ज कुकरैल सीवेज पंपिंग स्टेशन के माध्यम से 345 एम.एल.डी. एस.टी.पी. पर शोधित किया जा रहा है।

(स)

सिस गोमती सीेवेज पंपिंग स्टेशन

दि. 06.07.11 चालू कर दिया गया है।

(द)

ट्रांस गोमती सीवेज पंपिंग स्टेशन

दि. 06.07.11 चालू कर दिया गया है।

 



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