कृषि अर्थव्यवस्था के क्षेत्रीकरण सम्बन्धी पूर्व अध्ययनों की जांच करने के बाद योजना आयोग ने यह सिफारिश की कि कृषि-आयोजना कृषि-जलवायु क्षेत्रों के आधार पर तैयार की जानी चाहिए। संसाधन विकास के लिए देश को कृषि-जलवायु विशेषताओं, विशेष रूप से तापमान और वर्षा सहित मृदा कोटि, जलवायु और जल संसाधन उपलब्धता के आधार पर स्थूलतः निम्नानुसार पंद्रह कृषि जलवायु क्षेत्रों में बांटा गया हैः
i. पश्चिमी हिमालयी प्रभाग
ii. पूर्वी हिमालयी प्रभाग
iii. निचला गांगेय मैदानी क्षेत्र
iv. मध्य गांगेय मैदानी क्षेत्र
v. उच्च गांगेय मैदानी क्षेत्र
vi. गांगेय-पार मैदानी क्षेत्र
vii. पूर्वी पठार तथा पर्वतीय क्षेत्र
viii. केन्द्रीय पठार तथा पर्वतीय क्षेत्र
ix. पश्चिमी पठार तथा पर्वतीय क्षेत्र
x. दक्षिणी पठार तथा पर्वतीय क्षेत्र
xi. पूर्वी तटीय मैदानी क्षेत्र और पर्वतीय क्षेत्र
xii. पश्चिमी तटीय मैदानी क्षेत्र और पर्वतीय क्षेत्र
xiii. गुजरात मैदानी क्षेत्र और पर्वतीय क्षेत्र
xiv. पश्चिमी मैदानी क्षेत्र और पर्वतीय क्षेत्र
xv. द्वीप क्षेत्र
i. पश्चिमी हिमालयी प्रभाग
ii. पूर्वी हिमालयी प्रभाग
iii. निचला गांगेय मैदानी क्षेत्र
iv. मध्य गांगेय मैदानी क्षेत्र
v. उच्च गांगेय मैदानी क्षेत्र
vi. गांगेय-पार मैदानी क्षेत्र
vii. पूर्वी पठार तथा पर्वतीय क्षेत्र
viii. केन्द्रीय पठार तथा पर्वतीय क्षेत्र
ix. पश्चिमी पठार तथा पर्वतीय क्षेत्र
x. दक्षिणी पठार तथा पर्वतीय क्षेत्र
xi. पूर्वी तटीय मैदानी क्षेत्र और पर्वतीय क्षेत्र
xii. पश्चिमी तटीय मैदानी क्षेत्र और पर्वतीय क्षेत्र
xiii. गुजरात मैदानी क्षेत्र और पर्वतीय क्षेत्र
xiv. पश्चिमी मैदानी क्षेत्र और पर्वतीय क्षेत्र
xv. द्वीप क्षेत्र
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