जल प्रबंधन में प्रशिक्षित पेशेवरों की बढ़ती जरूरत

जल प्रबंधन में प्रशिक्षित पेशेवर,PC-नीड पिक्स
जल प्रबंधन में प्रशिक्षित पेशेवर,PC-नीड पिक्स

जल संरक्षण व प्रबंधन पर अब विभिन्न सरकारें और औद्योगिक प्रतिष्ठान भी ज्यादा जोर दे रहे हैं। इन समस्याओं से निपटने के लिए जल प्रबंधन के पेशेवरों की जरूरत बढ़ रही है। ये ऐसे प्रशिक्षित लोग होते हैं, जिन्हें वॉटर हार्वेस्टिंग, वेस्ट वॉटर ट्रीटमेंट तथा वॉटर रिसाइक्लिंग की अच्छी समझ होती है।

विश्व का बहुत बड़ा भाग जल संकट से जूझ रहा है। ऐसा प्रतीत होता है कि अगला विश्व युद्ध पानी के लिए लड़ा जा सकता है। जल संचयन मौजूदा समय की सबसे बड़ी मांग है। इसे लेकर देशवासियों में जागरूकता फैलाने के लिए भूजल सप्ताह भी शुरू हो चुका है, जिसका आयोजन 16-22, जुलाई तक किया गया। दूसरी ओर सुधारने के लिए आधुनिक तकनीकों की भी मांग बढ़ रही है। 

क्या है जल प्रबंधन?

देश-दुनिया में जल सरंक्षण और प्रबंधन की कोशिश कई स्तरों पर चल रही है जिससे आने वाले दिनों में गहराते हुए जल संकट से पार पाया जा सके। इसके लिए नदियों और भूजल में बढ़ रहे प्रदूषण को कम करने से लेकर भू-जल स्तर सुधारने, परंपरागत जल स्रोतों को सुरक्षित रखने तथा आधुनिक तकनीकों के सहारे वॉटर हार्वेस्टिंग की विधियां विकसित करने व वेस्ट वॉटर ट्रीटमेंट जैसे अनेक उपायों पर जोर दिया जा रहा है।

पाठ्यक्रम और योग्यता

जल प्रबंधन और संरक्षण पर आधारित कई तरह के कोर्स देश के विभिन्न सरकारी और निजी संस्थानों में संचालित हो रहे हैं। युवा वॉटर साइंस, वॉटर कंजर्वेशन, वॉटर मैनेजमेंट, वॉटर हार्वेस्टिंग, वॉटर ट्रीटमेंट तथा वॉटर रिसोर्स मैनेजमेंट जैसे किसी भी स्ट्रीम में कोर्स करके अपना करियर बना सकते हैं। वाटर हार्वेस्टिंग एंड मैनेजमेंट नाम से एक सर्टिफिकेट कोर्स संचालित हो रहा है। दसवीं पास युवा यह भी कोर्स कर सकते हैं। अगर आप बायोलॉजी विषय में बारहवीं पास हैं, तो एक्वा साइंस या वॉटर साइंस में बीएससी व एमएससी भी कर सकते हैं। 

रोजगार के अवसर

ग्रीन जॉब्स मार्केट में आकर्षक जॉब्स के बहुत अवसर हैं। वॉटर मैनेजमेंट में ट्रेंड प्रोफेशनल्स की जल प्रबंधन से जुड़े सरकारी विभागों में तथा वॉटर प्रोजेक्ट्स में खूब मांग है। निजी क्षेत्र में भी पेयजल आपूर्ति तथा वेस्ट वॉटर ट्रीटमेंट से संबंधित कार्यों के लिए प्रशिक्षित लोगों को ही नियुक्त किया जा रहा है। बड़े-बड़े उद्योग, रियल एस्टेट सेक्टर और एनजीओ में भी वॉटर हार्वेस्टिंग डिजाइनिंग तथा जल संचयन के लिए वॉटर मैनेजमेंट क्षेत्र से जुड़े पेशेवरों की सेवाएं ले रहे हैं। आप कंसल्टेंट बनकर भी कॅरिअर बना सकते हैं क्योंकि ऐसे पेशेवरों की वॉटर ट्रीटमेंट सिस्टम्स के संचालन के लिए मांग बढ़ रही है।

प्रमुख संस्थान

■ इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय, दिल्ली
■ दिल्ली टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी, दिल्ली
■ अन्ना यूनिवर्सिटी, तमिलनाडु
■ गवर्नमेंट इंजीनियरिंग कॉलेज, रायपुर
■ राष्ट्रीय जल विज्ञान संस्थान, रुड़की

स्रोत - उड़ान, अमर उजाला
 

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