राजेन्द्र सिंह
जल कुप्रबंधन के कारण बेपानी हो रहा म्यांमार
Posted on 31 Jan, 2023 12:18 PMहिन्दुकुश राष्ट्रों की सूची में म्यान्मार एक समृद्ध राष्ट्र था। इसका ज्ञान, संस्कार और व्यवहार भी प्रकृति प्रिय था। लेकिन यहां की सरकारों व बहुराष्ट्रीय कम्पनियों की सांठ-गांठ से अब यह राष्ट्र लुट-पिटकर गरीबतम् की सूची में आ गया। यहां के जल का कुप्रबंधन भी एक मिसाल बन गया है। यहां की नदियां बहुत प्रदूषित और शोषित होकर मर गई हैं। समाज और राज दोनों ही साझे भविष्य को बेहतर बनाने के लिए चिंतनशील द
रावण की नहीं है अब श्रीलंका
Posted on 31 Jan, 2023 12:01 PMहिन्द महासागर के उत्तरी भाग में स्थित इस द्वीप को श्रीलंका समाजवादी गणतंत्र राष्ट्र के रूप में जाना जाता है। यह केन्द्रीय पहाड़ों तथा तटीय मैदानों से मिलकर बना है। यहां की वार्षिक वर्षा 2500 मिलीमीटर से 5000 मिलीमीटर तक है। तापमान 27 डिग्री से 45 डिग्री तक रहता है । चारों तरफ समुद्र से घिरा होने के कारण अर्द्ध उष्णकटिबंधीय जलवायु क्षेत्र है। यहां की औसत आर्द्रता 70 मिली मीटर, रात को 90 मिलीमीटर
प्रकृति के संरक्षण और अनुशासन के विकास की परिभाषा को गढ़ता देश भूटान
Posted on 31 Jan, 2023 11:48 AMप्रकृति ने जो दिया, जितना दिया है, उसका अपनी कुशलता-दक्षता से सर्वोत्तम उपयोग करने का संस्कार भूटान देश में गहरा है। संरक्षण और अनुशासन ही यहां की विकास परिभाषा को गढ़ता और बनाता है। संरक्षण, उपयोग दक्षता और मानवीय अनुशासन ही भूटान की पुनर्जनन प्रक्रिया को तेज रखता है। प्राकृतिक और मानवता पुनर्जनन प्रक्रिया ही इस देश को दुनिया का सर्वाधिक आनंददायी देश बनाने का काम कर सका है।
बांग्लादेशी विस्थापितों का पुनर्वासघर है भारत
Posted on 30 Jan, 2023 01:20 PMबांग्लादेश में मेरा कई बार जाना हुआ है। जब भी गया तब नैतिकता, न्याय की विश्वशांति जलयात्रा के लिए ही गया। यह देश भारतखंड (हिन्दुकुश) का एक हिस्सा था। अभी भी है। इस देश और भारत में बहुत जुड़ाव सा दिखता है। इसमें उत्तर पूर्वी राज्यों तथा बंगाल से आना-जाना आज भी है, जबकि कांटेदार बाड़ लग गई है। लोगों का आना-जाना जब यह पूरा भारतवर्ष ही था, तब जैसा तो नहीं है; लेकिन आने-जाने वाले आज भी वैसे ही आ-जा
विस्थापन व विश्वयुद्ध से बचाव हेतु विश्वशांति जल-साक्षरता यात्रा : नेपाल
Posted on 30 Jan, 2023 01:07 PMनेपाल के काठमाण्डु में 5 दिसम्बर 2017 से 7 दिसम्बर 2017 तक एक हिन्दुकुश देशों का सम्मेलन हुआ था। इसमें भूटान, चीन, भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश, नेपाल और हिमालय से जुड़े सभी देशों के सरकारी व गैर-सरकारी प्रतिनिधि मौजूद थे। नेपाल की राष्ट्रपति ने इस सम्मेलन का उद्घाटन किया था। हिमालय से पलायन होना बड़ी समस्या है। सभी ने हिमालय की हरियाली और नदियों के प्रवाह को बनाये रखने हेतु बातचीत की थी। सभी के
पाकिस्तान में पर्यावरण संकट
Posted on 28 Jan, 2023 04:35 PMपाकिस्तान भारत का पड़ोसी देश है। लेकिन यहां कुदरत की हिफाज़त करने की चिंता भारत जैसी दिखाई नहीं देती। इस
मध्य एशिया में विश्वशांति जलयात्रा
Posted on 28 Jan, 2023 12:47 PMफिलीस्तीन, इजराइल, जॉर्जिया, अजरबैजान, इराक, तुर्किस्तान, कुवैत, ईरान, सऊदी अरब, कजाकिस्तान, ताजिकिस्तान, अफगानिस्तान, उज्बेकिस
फिलिस्तीन को इजराइली प्रौद्योगिकी ने बेपानी बनाया है
Posted on 27 Jan, 2023 02:53 PMबहुत सीधी-सरल, बड़े दिल वाली फिलिस्तीनी बहिन आइदा शिबली और साड़ दागेर मेरे अद्भुत दोस्त बन गए हैं। यहां मे
नदी के नाम पर बना देश जॉर्डन
Posted on 25 Jan, 2023 12:29 PMजॉर्डन नदी (हिब्रू: נהר הירדן, अरबी: نهر الأردن, डच: Jordaan rivier) पश्चिम एशिया के देश जॉर्डन की 251-किलोमीटर लंबी नदी है। यह नदी मृत सागर में सागर-संगम करती है। फिलहाल यह इज़राइल की पूर्वी सीमा का निर्धारण करती है। ईसाई परम्परा के अनुसार जॉन बैपटिस्ट ने इसी नदी में ईसा की बपतिस्मा करी थी। जॉर्डन जिसे आधिकारिक तौर पर हेशमाइट किंगडम ऑफ जॉर्डन कहते हैं। जॉर्डन नदी के नाम पर बना ही बना है
इजराइल : जल अनैतिकता और अन्याय ही विस्थापन, विश्वयुद्ध को बुला रहा है
Posted on 25 Jan, 2023 12:13 PMअनैतिकता और अन्याय करके जल प्रसिद्धिऔर पैसा प्राप्त करने वाला देश इजराइल है। इसने जॉर्डन नदी के जल पर, जॉर्डन देश के साथ जल समझौता तो 26 फरवरी 2015 को किया है। इससे पहले तो अपने पड़ोसी देशों के जल पर कब्जा किए ही था। उसी में कुछ फेर-बदल करके अभी दबाव का समझौता जॉर्डन से कर लिया है। फिलिस्तीन अब भी इजराइल से ही जल खरीद कर जीता है। फिलिस्तीनी इसके डर से लाचार-बेकार बनकर अपना देश छोड़ने हेतु मजबूर