स्वच्छ यमुना के लिए तय होगी जवाबदेही

सभी को अपने राज्यों में साफ-सफाई पर देना होगा ध्यान, हर माह लिया जाएगा यमुना के पानी का नमूना
दिन ब दिन प्रदूषित होती यमुनादिन ब दिन प्रदूषित होती यमुनाभास्कर न्यूज/फरीदाबाद/ तेजी से प्रदूषित हो रही यमुना को बचाने के लिए राज्यों की जवाबदेही तय की जाएगी। इसके लिए हर माह यमुना से सैंपल लेकर प्रदूषण का ग्राफ भी मापा जाएगा। हरियाणा, दिल्ली व उत्तरप्रदेश से होकर यमुना गुजरती है।

यमुना के जल में बायो केमिकल ऑक्सीजन डिमांड(बीओडी) की मात्रा तीनों राज्यों में सर्वाधिक है। हरियाणा के सोनीपत में यमुना का प्रवेश दिल्ली में होता है। दिल्ली से हरियाणा स्थित फरीदाबाद में यमुना आगरा-कैनाल में प्रवेश कर उत्तर प्रदेश की ओर जाती है। इसे प्रदूषण मुक्त करने के लिए उत्तरप्रदेश, दिल्ली और हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के वरिष्ठ अधिकारियों की कमेटी गठित की गई थी। कमेटी सभी राज्यों की जवाबदेही तय करेगी।

अपने हिस्से में पडऩे वाले यमुना को स्वच्छ रखने के लिए अधिकारियों की पैनी नजर रखने का निर्देश दिया गया है। हाल ही में आगरा कैनाल में पानी का सैंपल लिया गया था। इसमें बीओडी की मात्रा तय मानक से कहीं अधिक थी। दिल्ली व उत्तर प्रदेश के 24 नालों का पानी यमुना में जाता है। दिल्ली और उत्तरप्रदेश में यमुना के जल में बीओडी की मात्रा सर्वाधिक है।

अभी तक एक दूसरे पर यमुना को स्वच्छ रखने की जिम्मेदारी डालकर अधिकारी अपने कर्तव्य से बचते रहे हैं। हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी कर्ण सिंह कहते हैं कि दिल्ली में यमुना प्रवेश जब करती है तो बीओडी की मात्रा तय मानक के अनुसार होती है। नियमित अंतराल पर पानी का सैंपल लिया जाता है। इसकी जांच की जाती है।

महत्वपूर्ण तथ्य


• सोनीपत से दिल्ली में यमुना का जल प्रवेश करते समय बीओडी की मात्रा : 2.5 से 3
• दिल्ली से फरीदाबाद में प्रवेश करते समय बीओडी की मात्रा : 35 से 36
• तय मानक : 2.5 से 3 बीओडी

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