पानी जाँच की कीमत 1000 रुपए, जाँच करवाना मुश्किल, दूषित जल पीना मजबूरी


जयपुर। प्रदेश में अशुद्ध और दूषित पानी की आपूर्ति से जहाँ आमजन की सेहत खतरे में है। वहीं दूसरी ओर आलम यह है कि जनता चाह कर भी अपने इस्तेमाल वाले पानी के नमूनों की जाँच आसानी से नहीं करवा सकती। प्रदेश में चिकित्सा एवं जन स्वास्थ्य अभियाँत्रिकी विभाग की ओर से लिये गये करीब सवा लाख जाँच नमूनों में से 19 हजार नमूनों के फेल मिलने के बाद राजस्थान पत्रिका ने जाँच करवाने की सुविधा की जानकारी ली तो अधिकांश स्थानों पर आमजन के लिये सरल व सुगम जाँच सुविधा नहीं मिली।

कुछ जिलों में सरकारी दरों पर जिला मुख्यालय पर जाँच की सुविधा है। इसमें जलदाय विभाग की ओर से दिये गये नमूने फ्री में जाँचे जाते हैं। इसके अलावा किसी और के द्वारा नमूना देने पर रसायनों और बैक्टीरिया की जाँच में एक हजार रुपए तक लग जाते हैं। राजधानी में कुछ प्रयोगशालाओं में इस तरह की जाँच सुविधा है। जाँच रिपोर्ट मिलने में सामान्यतया करीब 24 घंटे से सात दिन की समय लगता है।

बढ़ रहा मरीजों का आंकड़ा


2-3 हजार मरीज रोजाना जयपुर में जल-जनित बीमारियों के आते हैं। 50 डिस्पेंसरियाँ और 10 बड़े सरकारी अस्पताल हैं जयपुर जिले में, जिनका प्रतिदिन आउटडोर करीब 20 हजार मरीजों का है। 60,000 मरीज हर महीने जयपुर जिले में जलजनित बीमारियों के होते हैं। 60 फीसद बीमारियों में प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष तौर पर दूषित पानी ही कारण होता है।

जाँच की प्रक्रिया


प्राइवेट नमूना लेने पर नमूना लेने वाले और लैब टैक्नीशियन के हस्ताक्षर लिये जाते हैं। करीब सात दिन में रिपोर्ट आ जाती है।

स्वास्थ्य विभाग ने जारी किया था अलर्ट


मई-जून में जलजनित बीमारियों के काफी मरीज़ मिलने की बाद स्वास्थ्य विभाग ने अलर्ट जारी किया था। इनमें डायरिया, उल्टी-दस्त सहित पीलिया के मरीज शामिल थे। इसके बाद भी हालात नहीं सुधरे।

मौजूदा सुविधाएँ


सीकर जिले में पानी के नमूने जाँचने के लिये एक ही लैब है। इसमें स्वास्थ्य विभाग एवं जलदाय विभाग की ओर से लिये जाने वाले नमूनों की जाँच की जाती है।

बूँदी में पानी की जाँच के लिये एक लैब है। लैब में प्रत्येक दिन पानी के नमूनों की जाँच होती है। यहाँ निजी स्तर पर जाँच कराने पर लैब में जीवाणु के 200 रुपए व केमिकल जाँच के 700 रुपए वसूले जाते हैं।

सवाईमाधोपुर में यहाँ पानी के नमूनों की जाँच मशीनरी से की जाती है। यहाँ रूटीन मेडिकल पैरामीटर पर पानी की जाँच के 700 रुपए प्रति जाँच लिये जाते हैं। जीवाणु परीक्षण की जाँच दो तरह से होती है। इसमें 200 व 300 रुपए प्रति जाँच लिये जाते हैं।

अजमेर में सेटेलाइट अस्पताल में और जलदाय विभाग की ओर से फॉयसागर रोड स्थित फिल्टर प्लांट पर प्रयोगशाला में पानी के नमूनों की जाँच की जाती है। यह जाँच निशुल्क होती है। निजी स्तर पर सिविल लाईंस में एक प्रयोगशाला है, जहाँ 500 रुपए शुल्क लिया जाता है।

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