
Ganga
फारसी शब्द ‘आब’ का अर्थ है जल। यह नदी का भी वाचक है। दो नदियों से घिरे स्थान को दोआब कहते हैं जैसे गंगा-यमुना का दोआब और पाँच नदियों वाला स्थान पंजाब
जल, पर्वत, जंगल या मरूभूमि से घिरा स्थान ‘द्वीप’ है। संस्कृत ‘द्वीप’ से शब्द बना ‘दियारा’। गंगा और ब्रह्मपुत्र नदियों में बाढ़ से पुरानी द्वीप गायब हो जाते हैं और नए द्वीप उभर आते हैं, उन्हें ‘दियारा’ कहते हैं। ऐसे द्वीपों पर कब्जा करने के लिए किसानों में खूनी संघर्ष होते हैं। अरबी में इसे ‘जजीरा’ कहते हैं। जजीरा मरूभूमि के बीच नखलिस्तान में भी हो सकता है। अलजीरिया में एक तरफ समुद्र और दूसरी तरफ धरती है, इसलिए यह अलजीरिया है अर्थात जजीरा। फारसी शब्द ‘आब’ का अर्थ है जल। यह नदी का भी वाचक है। दो नदियों से घिरे स्थान को ‘दोआब’ कहते हैं, जैसे गंगा-यमुना का दोआब और पाँच नदियों वाला स्थान पंजाब। मैसोपोटामिया दो तरफ नदियों से घिरा है, इसलिए दोआब है। संस्कृत द्वीप से दियारा बना, वह ‘दीव’ हो गया जो भारत के पश्चिमी तट पर है।
सन 700 में चीनियों ने दीव को ‘तियु’ लिखा है। तंग वंश के समकालीन विवरणों के अनुसार चीन से भारत पहुँचने में 10 दिन लगते हैं। फारस की खाड़ी में जाने लिए पोत ‘तियु’ बंदरगाह से जाते हैं। सन 1516 में बरबोसा ने लिखा- ‘दिओ’ छोटा-सा द्वीप है जहाँ एक बड़ा और सुंदर नगर है। मलाबार के लोग इसे ‘दिक्षुआ’ और मूर इसे ‘दियु’ कहते हैं। यहाँ बहुत अच्छा बंदरगाह है। गुजरात के शासक बहादुरशाह से संधि करके पुर्तगालियों ने सन 1535 में यहाँ किला बनवाया। 1538 और सन 1545 में उन्होंने यहाँ बहादुरशाह के उत्तराधिकारी की घेराबंदी की। सन 1648 के एक विवरण के अनुसार दक्षिण में ‘दियु’ शहर है यहाँ पुर्तगालियों के तीन दुर्ग हैं। पुर्तगाली और भारतीय इसे ‘दिवे’ या ‘दीव’ कहते हैं। सन 1727 में हैमिल्टन ने इसे भारत के सुंदर शहरों में एक बताया, जहाँ संगमरमर की इमारतें हैं। दमण और दीव अब गोआ राज्य के अन्तर्गत आते हैं।

सन 700 में चीनियों ने दीव को ‘तियु’ लिखा है। तंग वंश के समकालीन विवरणों के अनुसार चीन से भारत पहुँचने में 10 दिन लगते हैं। फारस की खाड़ी में जाने लिए पोत ‘तियु’ बंदरगाह से जाते हैं। सन 1516 में बरबोसा ने लिखा- ‘दिओ’ छोटा-सा द्वीप है जहाँ एक बड़ा और सुंदर नगर है। मलाबार के लोग इसे ‘दिक्षुआ’ और मूर इसे ‘दियु’ कहते हैं। यहाँ बहुत अच्छा बंदरगाह है। गुजरात के शासक बहादुरशाह से संधि करके पुर्तगालियों ने सन 1535 में यहाँ किला बनवाया। 1538 और सन 1545 में उन्होंने यहाँ बहादुरशाह के उत्तराधिकारी की घेराबंदी की। सन 1648 के एक विवरण के अनुसार दक्षिण में ‘दियु’ शहर है यहाँ पुर्तगालियों के तीन दुर्ग हैं। पुर्तगाली और भारतीय इसे ‘दिवे’ या ‘दीव’ कहते हैं। सन 1727 में हैमिल्टन ने इसे भारत के सुंदर शहरों में एक बताया, जहाँ संगमरमर की इमारतें हैं। दमण और दीव अब गोआ राज्य के अन्तर्गत आते हैं।
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