![मोहड़ ग्राउंड जीरो](https://c6.staticflickr.com/8/7384/27935347181_0ee2daa8c0.jpg)
प्रशासनिक कार्यवाही की बात करें तो बालोद जिले के अन्तर्गत 6 गाँव की धारा 6 की कार्रवाई पूरी हो चुकी है। 2 गाँव में यह प्रक्रिया होनी है एवं 2 गाँव में धारा 9 की सुनवाई प्रक्रियाधीन है। राजनांदगाँव जिले के अंतर्गत 4 गाँव का अवार्ड पारित कर भुगतान भी किया जा चुका है।
ग्रामीणों ने बताया कि राजनांदगाँव जिले के प्रभावित गाँव मोहड़, सिरलगढ़ और बूटाकसा गाँवों में 8-10 लाख रुपए एकड़ के हिसाब से मुआवजा बँट चुका है और दूसरी तरफ इनसे लगे बालोद जिले के प्रभावित गाँवों हुच्चेटोला, कुदारी, दल्ली, मरसकोला, भर्रीटोला, मंगचुआ, डूमाटोला, करतुटोला और कर्रेगाँव में मुआवजा सबसे बड़ा सवाल बन कर उभर रहा है। इन गाँवों में अधिकतम 2 लाख रूपए तक का मुआवजा तय किया गया है जिसे लेने से ग्रामीण इनकार कर रहे हैं। असमान मुआवजे का असर इन गाँवों में साफ दिख रहा है। एक तरफ राजनांदगाँव जिले के प्रभावित गाँवों में अब समृद्धि की बयार है। यहाँ लोग बढ़ी हुई दर पर मुआवजा ले चुके हैं, जिन ग्रामीणों ने अपनी जमीन और अपने खेत इस परियोजना के लिये दे दिए हैं, उनके यहाँ अब ईंट भट्टों की फसल लहलहा रही है। समृद्धि का एक रूप यह भी है।
![प्रभावित गाँव हुच्चेटोला](https://c5.staticflickr.com/8/7091/27733060660_9e1990134d.jpg)
औद्योगिक परियोजना घोषित करने की मांग उठ रही
ग्रामीण पूरी परियोजना को औद्योगिक घोषित करने की मांग कर रहे हैं। वहीं मुआवजा एक बड़ा सवाल बना ही हुआ है। 3 मार्च 16 को सूचना के अधिकार में खुलासा हुआ है कि हुच्चेटोला के किसानों को 32 हेक्टेयर जमीन के एवज में 77 लाख रुपए मुआवजा तय किया गया है। इसमेें से 40 लाख रुपए बाँट भी दिए गए हैं। साफ है किसानों में मुआवजे को लेकर फूट भी है। अब मुआवजा नहीं लेने वाले किसान एक एकड़ जमीन के एवज में 25 लाख रुपए की मांग करने लगे है। वहीं दबी जुबान विभागीय अधिकारियों का कहना है कि हमसे पहले पदस्थ अधिकारी वर्ग इस दिशा में सार्थक प्रयास करते तो ऐसी नौबत ही नहीं आती। किसान रामदयाल, पल्टन सिंह, रामचरण का कहना है कि मोहड़ जलाशय का पानी एनएसपीसीएल के पुरैना स्थित पावर प्लाण्ट को दिया जाएगा, इसलिए मोहड़ जलाशय को औद्योगिक परियोजना के अंतर्गत लिया जाए। चिमनसिंह, सेवाराम कहते हैं कि प्रभावित 12 गाँवों के युवाओं को नौकरी दी जाए। किसानों को भी स्थाई रोजगार दिया जाए।
सबसे ज्यादा जमीन हम दे रहे और फायदा वो उठाएंगे..?
![प्रभावित गाँव हुच्चेटोला के उद्वेलित ग्रामीण](https://c7.staticflickr.com/8/7429/27733058350_9f1e2139e7.jpg)
इस विसंगति पर शासन भी मौन है। सुग्रीव राम, मनीराम, प्रीतराम, सावतराम ने कहा कि डूबान क्षेत्र में आने वाले किसी भी ग्राम के व्यक्तिगत किसान की भूमि यदि 75 प्रतिशत डूबान में आता है, उसे पुनर्वास के अंतर्गत लिया जाना चाहिए। पेड़ पौधों का मुआवजा वन विभाग द्वारा निर्धारित दर से दोगुना के हिसाब से मिलना चाहिए और बाँध से प्रभावित प्रत्येक भूमिहीन परिवार को पुनर्वास नीति के तहत व्यवस्थापन किया जाना चाहिए। जगदीश राम और संतुराम बताते हैं व्यवसाय करने के लिये चाही गई स्थान पर निःशुल्क जमीन देकर दुकान प्रशिक्षण तथा राशि उपलब्ध कराने की मांग जिला मुख्यालय से लेकर राज्य शासन से की गई है। वहीं सभी प्रकार के कृषि जमीन भर्री, धनहा, बाड़ी, सिंचित, असिंचित का एक समान मुआवजा देने की मांग की गई है।
मोहड़ जलाशय परियोजना की खास बातें | |
प्रशासकीय स्वीकृति | 1 दिसम्बर 2009 |
तकनीकी स्वीकृति | 12,503.93 लाख की |
स्वीकृत लम्बाई | 2007 मीटर और अधिकतम ऊँचाई 19.40 मीटर |
फीडर नहर की लम्बाई | 23.01 किमी एवं बाईं तट नहर की लम्बाई 8.67 किमी |
यह फीडर नहर सीधे खरखरा जलाशय से जुड़ेगी और इससे पानी तांदुला जाएगा।
आपात स्थिति में मोहड़ जलाशय का उपयोग दुर्ग-भिलाई शहर के पेयजल के लिये भी।
बालोद जिले के प्रभावित गाँव और रकबा हेक्टेयर में | |
हुच्चेटोला | 33.14 हेक्टेयर |
कुदारी | 57.56 हेक्टेयर |
मरसकोला | 236.11 हेक्टेयर |
करतुटोला | 4.99 हेक्टेयर |
दिल्ली | 184.20 हेक्टेयर |
मंगचुवा | 37.59 हेक्टेयर |
डुमरटोला | 1.47 हेक्टेयर |
क्या कहते हैं कलेक्टर ''मुआवजे पर कुछ गाँव वाले मान गए हैं। यह विसंगति इसलिए लग रही है क्योंकि बालोद जिले के प्रभावित गाँवों का मुआवजा भू-अर्जन अधिनियम 1894 के अंतर्गत तय हुआ था। वहीं राजनांदगाँव जिले का मुआवजा तय हुआ तो तब तक भू-अर्जन अधिनियम 2014 लागू हो चुका था। इसलिए वहाँ बढ़ी हुई दर पर मुआवजा मिला है। अब नए सिरे से मुआवजा तय करना जिला प्रशासन के लिये सम्भव नहीं है। परियोजना का स्वरूप लघु सिंचाई या औद्योगिक हो, इस बारे में फैसला शासन के स्तर का है। अगर ग्रामीणों की कोई आपत्ति है तो उसका जरूर निराकरण किया जाएगा।'' - राजेश सिंह राणा, कलेक्टर बालोद |
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