माघ सुदी आठैं दिवस, जो कृतिका रिस होय।
की फागुन पाथर पड़ै, की सावन महँगो होय।
शब्दार्थ- रिस –नक्षत्र।
भावार्थ- यदि माघ शुक्ल अष्टमी को कृतिका नक्षत्र पड़े तो या तो फागुन में ओले पड़ेंगे अथवा सावन में अनाज महँगा होगा।
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