कहीं नदियाँ उफान पर कहीं बिजली का कहर


नई दिल्ली, 31 जुलाई (भाषा)। देश के विभिन्न हिस्सों में मानसून की सक्रियता के चलते रविवार भी कहीं भारी बरसात हुई तो कहीं खतरे के निशान से ऊपर बह रही नदियों के चलते जनजीवन प्रभावित हुआ। भारी बरसात के चलते कई मार्ग अवरुद्ध हुए। ओडीशा में बिजली गिरने से 32 लोगों की जानें गई। बिहार में बरसात से मरने वालों की संख्या 26 हो गई। बिहार और असम सहित देश के बाढ़ प्रभावित इलाकों से दस हजार से ज्यादा लोगों को बचाया गया है। यह जानकारी आज एनडीआरएफ ने दी।

केन्द्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल ने बताया, ‘राहत और बचाव कार्य में एनडीआरएफ की 44 टीमों को तैनात किया गया है। असम में बचाव कार्य में 12 दल अनवरत काम कर रहे हैं।’ इसने कहा कि मानसून के महीने में पूरे देश में अब तक करीब दस हजार से ज्यादा लोगों को सुरक्षित निकाला जा चुका है। बिहार के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में अब भी आठ टीमें काम कर रही हैं। इसके अलावा बल का नियंत्रण कक्ष सातों दिन चौबीसों घंटे देश में बाढ़ की स्थिति की निगरानी कर रहा है।

बरसात के चलते उत्तराखण्ड के रूद्रप्रयाग जिले में केदारनाथ यात्रा मार्ग पर भूस्खलन होने से उत्तर प्रदेश के पाँच श्रद्धालु घायल हो गए जबकि राज्य के ज्यादातर हिस्सों में जारी बारिश के चलते चारधाम यात्रा सहित कई रास्ते यातायात के लिये अवरुद्ध हैं, जिन्हें खोले जाने की कार्रवाई की जा रही है। प्रदेश में ज्यादातर स्थानों पर बारिश जारी रही। पिछले 24 घंटों के दौरान उत्तराखण्ड में किच्छा में सर्वाधिक 120 मिमी बारिश दर्ज की गई।

उधर उत्तर प्रदेश में पिछले 24 घंटे के दौरान अनेक स्थानों पर बारिश हुई। भारी बारिश के कारण राप्ती, घाघरा, बूढ़ी राप्ती और रोहिन समेत अनेक नदियाँ अपने तटवर्ती क्षेत्रों में कहर बरपा रही हैं। आंचलिक मौसम विज्ञान केन्द्र की रिपोर्ट के मुताबिक दक्षिण-पश्चिमी मानसून पूरे प्रदेश में सक्रिय है। इस अवधि में बहेड़ी (बरेली) में सबसे ज्यादा 17 सेंटीमीटर वर्षा हुई। अगले 24 घंटे के दौरान भी राज्य में अनेक स्थानों पर बारिश होने का अनुमान है। कुछ स्थानों पर भारी वर्षा भी हो सकती है। यह सिलसिला अगले दो दिन तक जारी रहने की संभावना है।

उधर मुम्बई और उपनगरीय इलाकों तथा पड़ोसी ठाणे जिले में रविवार सुबह से हुई भारी बारिश से मध्य और हार्बर मार्ग पर ट्रेनें देरी से चलीं। मौसम विभाग ने मुम्बई और इसके उपनगरीय इलाकों में अगले 24 घंटों में बहुत भारी बारिश होने की संभावना जताई है। यहाँ मौसम विभाग में निदेशक वीके राजीव ने बताया कि सक्रिय मानसून की स्थिति की वजह से मुम्बई में शनिवार से ही अच्छी बारिश हो रही है। हम उम्मीद कर रहे हैं कि पश्चिम की ओर से तेज हवाओं और गुजरात के ऊपर बने चक्रवाती विक्षोभ के कारण अगले 24 घंटे में तेज बारिश हो सकती है। स्काईमेट के मुताबिक, मुम्बई में जुलाई में 925.6 मिमी बारिश रिकॉर्ड की गई है जबकि महीने की औसत बारिश 799.7 मिमी है।

इस बीच मुम्बई के तटरक्षक क्षेत्रीय मुख्यालय (पश्चिम) ने महाराष्ट्र, गोवा, कर्नाटक, केरल और केन्द्रीय शासित प्रदेश लक्ष्यद्वीप की मछली पकड़ने वाली नौकाओं और तटीय नौकाओं के सम्बन्ध में एक परामर्शी जारी किया है। यह परामर्श 31 जुलाई को खत्म हो रहे मछली पकड़ने पर लगे प्रतिबंध को देखते हुए जारी किया है क्योंकि दक्षिण-पश्चिम मानसून की मजबूती की वजह से समुद्र में लगातार खराब मौसम बना हुआ है।

ओड़ीसा के विभिन्न हिस्सों में पिछले दो दिनों में बिजली गिरने से कम से कम 32 लोगों की मौत हो गई। ओड़ीसा आपदा प्रबंधन नियंत्रण कक्ष ने कहा कि शनिवार से इस राज्य के विभिन्न जिलों में बिजली गिरने से सबसे अधिक आठ लोग भद्रक जिले में मारे गए। मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने विशेष राहत आयुक्त को पीड़ितों के परिजनों को सहायता उपलब्ध कराने का निर्देश दिया है।

बरसात का कहर बिहार में भी देखने को मिला। आपदा प्रबंधन विभाग से प्राप्त जानकारी के मुताबिक पड़ोसी देश नेपाल के तराई क्षेत्रों में भारी वर्षा से उत्तरी बिहार के कुछ जिलों में बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो गई है। वर्तमान में महानंदा, बखरा, कंकई, परमार, कोसी एवं अन्य नदी में बाढ़ से बिहार के 12 जिलों के 62 प्रखंडों के 2162 गाँव की 27.50 लाख आबादी प्रभावित हुई है। बिहार में घाघरा नदी सीवान जिले के दरौली और गंगापुर-सिसवन में, बागमती नदी मुजफ्फरपुर के बेनिबाद में, कोसी नदी खगड़िया के बलतारा में, महानंदा नदी पूर्णिमा के ढेंगरा घाट में तथा कटिहार जिले के झावा में खतरे के निशान से ऊपर बह रही है।

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