केनगलपलिया उप वाटरशैड-कोराटगेरी तालुका

बंडिंग गतिविधियों के माध्‍यम से जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाना-मेरागोंडानागुनी एमडबल्‍यूएस/मेरागोंडानागुनी स्थित केनगनपलिया उपवाटरशैड के सूक्ष्‍म वाटशेड की बंडिंग गतिविधियां आरंभ में बहुत धीमी थीं। इसके बावजूद एजी के अंतर्गत ही एक दल का गठन करने के लिए क्षेत्र के समूह के सदस्‍यों को एक युक्ति के बारे में बताकर कार्य आरंभ करने के लिए कहा गया। तदनुसार, यकदकट्टेहल्‍ला एजी के पांच सदस्‍य आगे आए और 15 किसानों वाले एक क्षेत्र में बंडिंग कार्य का श्रीगणेश किया। इस एजी द्वारा प्रेरित, एजी के दूसरे सदस्‍य भी बंडिंग कार्य करने के लिए आगे आ गए। इस प्रकार, 44387.00 रू0 के बंडिंग कार्य को पूरा कर लिया गया1 पिछले 40 दिनों में इस गतिविधि से 40 सदस्‍यों के लिए मजदूरी का सृजन किया गया है। इन मजदूरों में 9 भूमिहीन परिवार, 15 सीमांत किसान और 16 लघु किसान शामिल किए गए हैं। एरिया ग्रुप की मध्‍यस्‍थता के परिणामस्‍वरूप इन सदस्‍यों ने अच्‍छी खासी रकम कमाई है और इस रकम का इन्‍होंने निम्‍नलिखित प्रकार से उपयोग किया है:

 तीन सदस्‍यों ने गाय खरीदी हैं।
 दस सदस्‍यों ने घर में काम आने वाली फर्नीचर खरीदी है।
 एक सदस्‍य ने बैलगाड़ी खरीदी है।
 कुछ सदस्‍यों ने अपना कर्ज चुकाया है।
 एक सदस्‍य ने साईकल खरीदी है।
अब एजी के ये उपरोक्‍त सदस्‍य दूसरे सूक्ष्‍म वाटरशैडों में बंडिंग कार्य कर रहे हैं।
बंडिंग का प्रभाव : सिददरगारूहल्‍ला उप वाटर शैड-मधुगिरी तालुका

सर्वेक्षण नं0 103 में श्री किरयान्‍ना पुत्र श्री रमानायक मरियानाकनाहल्‍ली-1 एमडबल्‍यूएस के नारियल उद्यानों में लगभग 90 मीटर गड्ढे-सह-बंडिंग कार्य पूरा किया जा चुका था। यह कार्य 01.08.2005 को पूरा हो गया था1 यहां की भूमि लहरदार है और इसमें लगभग नारियल के 25 पौधें हैं। लाभान्वितों के अनुसार, पौधों की कार्यक्षमता और उनकी वृद्धि में बंडिंग कार्य के बाद सुधार आया है। बंडिंग कार्य के बाद न केवल फलों का आकार बढ़ा अपितु उनकी संख्‍या भी बढी है। इन्‍होंने बांध पर सपोटा पौधा भी लगाया है। इस जमीन पर चार मीटर जल अवरोधक का निर्माण भी किया गया था। श्री करियन्‍ना ईसी के उपाध्‍यक्ष हैं। इसी प्रकार बंडिंग कार्य पूरा होने के बाद इमली के पेड़ों में भी सुधार की रिपोर्ट प्राप्‍त हुई हैं।


अच्‍छी आदतें अर्थात प्रणालियां



1; केनगनपलिया उप वाटरशैड -येलरामपुरा एमडबल्‍यूएस-तृतीय फेस
अच्‍छी आदतें: ईसी सभाओं का आयोजन नियमित रूप से किया जा रहा है1 जब तक सदस्‍यों की पर्याप्‍त संख्‍या और उनकी उपस्थिति निर्धारित संख्‍या के बराबर नहीं हो जाती तब तक इन सभाओं का आयोजन नहीं किया जाता है। ईसी में बुक राइटर तथा कोषाध्‍याक्ष द्वारा नियमित रूप से रिकार्डकीपिंग, पुस्‍तकों का रख-रखाव एवं इनका रिकार्ड अद्यतन (अपडेट) किया जाता है। सीएमआर पूरा किए बिना भुगतान नहीं किया जाएगा। ऐसे उदाहरण सामने आए हैं जब कुछ सदस्‍यों ने सीएमआर के बिना ही कोषाध्‍यक्ष पर भुगतान करने के लिए दबाव डाला था। किंतु कोषाध्‍यक्ष श्री शिवकुमारैया सुजाता के दिशानिर्देशों का कठोरता से पालन करते हुए सीएमआर के बाद ही भुगतान करते हैं और ईसी सभाओं में प्रस्‍ताव पारित करवाते हैं। शिवकुमारैया द्वार-दर-द्वार दौरों में तथा ईसी की सभाओं के दौरान सक्रिय रूप से भाग लेते हैं और प्रगति में सुधार हेतु दूसरों को प्रेरित करते हैं। वे एक आदर्श कोषाध्‍यक्ष हो सकते हैं।

2. कार्यान्‍वयन में एजी का योगदान: चिकडोदावड़ी एमडबल्‍यूएस की प्रगति का स्‍तर खराब रहा। यहां के किसानों का कहना था कि उनके गांवों में मजदूरों की कमी है। एजी सदस्‍यों ने एकसाथ आगे आकर वैकल्पिक रणनीतियां बनाईं और एमडबल्‍यूएस में इसे पूरा करने के लिए एजी को सौंप दिया गया। हालेकेरी एजी के 17 सदस्‍यों ने अपनी एजी के कार्य को क्रियान्वित करने का बेड़ा उठाया और फील्‍ड बंडिंग का कार्य पूरा कर मजदूरी काटने के बाद एजी को 5000.00 रू0 की सामान्‍य निधि की बचत की। यह रणनीति मारागोंडानागुनी एमडबल्‍यूएस और रकेनहल्‍ली एमडबल्‍यूएस द्वारा भी अपनाई गई थी।
सभी ईसी ने निर्णय लिया कि बंडिंग कार्य के 60 प्रतिशत कार्य को डीएलटी कार्य आरंभ करने से पूर्व अवश्‍य किया जाना है। इसने सभी एमडबल्‍यूएस में बंडिंग कार्य को लाभान्वित किया।
समीक्षा सभा के दौरान एफएनओजी तथा एओ ने एक अच्‍छा निर्णय लिया कि डीएलटी के समस्‍त कार्यों को एजी के माध्‍यम से क्रियान्वित किया जाना है और संबंधित एजी को एक समझौता करना होगा कि भविष्‍य में भी इसी प्रकार की संरचना बनी रहेगी।

3. जयमंगली उप वाटरशैड-फेस 3, मधुगिरी तालुका



हनुमंथपुरा सूक्ष्‍म वाटरशैड
अच्‍छी आदत अर्थात बात - भुगतान करने से पूर्व ईसी ने चैक बांध, आरआरएस, ईबी और एमपीटी जैसे प्रमुख कार्यों का निरीक्षण करने की पद्धति अपनाई है। अध्‍यक्ष सहित ईसी के सभी सदस्‍य कार्यान्‍वयन की गुणवत्ता को देखने के लिए स्‍थान का दौरा करेंगे। 18.4.2006 को कृषि सहायक श्री अर्जुन नायक के साथ सभी सदस्‍यों ने सर्वेक्षण नं0 9 के अंतर्गत निर्माणाधीन सीडी कार्य का दौरा किया और कुछ सुझाव दिए। एनजीओ ने 24.42006 को ऑडियो कान्‍फ्रेन्‍स के दौरान इन पर चर्चा की। एडीडबल्‍यूडीओ ने सभी एफएनजीओ को अपने अपने उप वाटरशैड में इन्‍ही पद्धतियों को अपनाने का सुझाव दिया।

4. आईजीए- जयमंगली हल्‍ला एसडबल्‍यूउस (किड्स-एफएनजीओ)- द्वितीय फेस



बदसलम्‍मा एसएचजी, ननाजापुर (हनुमंथपुरा एमडबल्‍यूएस)
17 सदस्‍यों में से 16 सदस्‍यों को ईडीपी गतिविधि के अंतर्गत चक्रीय निधि दी गई। इनमें से 6 सदस्‍यों ने बकरियां खरीदी, छ सदस्‍यों ने इस राशि से व्‍यापार (केला, सब्जियां बेचने का कार्य) किया और चार सदस्‍यों ने गाय खरीदी। यह राशि इन सदस्‍यों को 2 प्रतिशत प्रति मास सेवा प्रभार के अनुसार दी गई थी। ये सदस्‍य केवल ब्‍याज दे रहे हैं और ऋण की राशि नहीं। एसएचजी सदस्‍यों को महीने में कम से कम ऋण की राशि लौटाने का भी प्रशिक्षण भी दिया गया था।

विनायक एसएचजी, कोटागडाला (इगीहल्‍ली एमडबल्‍यूएस)
- इस एसएचजी में 12 सदस्‍य हैं। सितंबर-05 में 11 सदस्‍यों को चक्रीय निधि दी गई थी। इनमें से आठ सदस्‍यों ने बकरियां खरीदी और एक सदस्‍य ने सूअर पालने का काम शुरू किया। एक सदस्‍यों ने भैंस खरीदी तो एक सदस्‍य ने फुटकर दुकान खोली। जयम्‍मा द्वारा खरीदी गई भैंस की मौत हो गई। इसके बावजूद वह कर्जा उतार रही है। इन सदस्‍यों को यह राशि 1.5 प्रतिशत मासिक प्रभार के अनुसार दी गई थी1 इस ऋण की वसूली 200 रू0 प्रति मास के हिसाब से की जा रही है। अब सभी बकरियों ने दो-दो बच्‍चों को जन्‍म दे दिया है। आईजीए की सभी गतिविधियां ठीक प्रकार से चलाई जा रही हैं।

5. नरेन्‍द्र फाउनडेशन, गुमाघट्टा-तृतीय फेस-


गुम्‍माघट्टा उप वाटरशैड के बोदराहल्‍ली स्थित सूक्ष्‍म वाटरशैड में पिछले तीन महीनों से ईसी कार्यालय में डबयूए और एफजी ने एक छोटा सा पुस्‍तकालय चलाया है। इसमें कृषि और सामान्‍य विषयों से संबंधित कुछ पुस्‍तकों और पत्रिकाओं को शेल्‍फ में प्रदर्शित किया गया है। इस प्रयास की सराहना की गई है और कुछ महत्‍वपूर्ण पुस्‍तकों को रखने का सुझाव दिया गया है ताकि दूसरे दर्शक और किसान इस पुस्‍तकालय को देख सके और इसका उपयोग कर सकें। इसके साथ-साथ इस जैसे पुस्‍तकालय दूसरे सूक्ष्‍म वाटरशैडों में भी खोले जाएं।

6. काइन्‍डहर्टस, एस. हल्‍ला-
फील्‍ड मार्गदर्शन करता है और सभाओं की साप्‍ताहिक समीक्षा करने के लिए आते समय डबल्‍यूए को चंदा की रसीदें और भुगतान के वाउचर अपने साथ लाने चाहिएं। यदि इन दस्‍तावेजों को नहीं लाया जाता है तब इनकी एमडबल्‍यूएस प्रगति को स्‍वीकार नहीं किया जाएगा। यह सुनिश्चित किया जाए कि सूचित प्रगति और फील्‍ड की प्रगति दोनों समान होनी चाहिए ताकि फील्‍ड स्‍टॉफ द्वारा पहले से ही प्रगति देने से बचा जा सके। यह सूचना प्रत्‍येक सप्‍ताह में सिस्‍टम में डाल दी जाती है और कोई भी व्‍यक्ति किसी भी समय प्रत्‍येक एमडबल्‍यूएस की प्रगति और वित्तीय स्थिति की सही सूचना प्राप्‍त कर सकता है।

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