टोंक। सावन माह आधा बीतने के बाद भी अच्छी बारिश नहीं होने से टोंक जिले में सिंचाई विभाग के सभी बांध रीते हैं। बांध पानी को तरस रहे हैं। भूजल स्तर गहराने से प्रशासन चिंतित है। जून माह में बारिश का दौर शुरू हो जाता है, लेकिन जिले में इस बार मानसून कमजोर रहा। गत साल (08) में टोंक जिले में 25 जुलाई तक 228.92 बारिश हुई, लेकिन इस साल मात्र 152.71 एमएम बारिश ही हुई है। जिले के गलवा बांध, टोरडीसागर, गलवानिया व दौलतसागर बांध में गत सत्र में पानी की अच्छी आवक हुई, पर वर्तमान सत्र में बांध पानी को तरस रहे हैं।
बरसात नहीं होने पर प्रशासन की चिंता बढ़ने लगी है। गलबा बांध में (4 फीट 8 इंच) टोरड़ीसागर में (1 फीट 9 इंच) गलवानिया बांध में (5 फिट 9 इंच) चांदसेन (2 फीट), दौलतसागर में (1 फीट 6 इंच), श्योदानपुरा में (1 फीट 9 इंच), ठीकरिया में (2.70 मीटर), पनवाड़ सागर में (7 फीट), आंवला बांध (5 फीट 10 इंच), किरावल सागर में (5 फीट 3 इंच), खरेड़ा सागर में (4 फीट 9 इंच) पानी की आवक हुई है।
जल स्तर गहराने की आशंका
बारिश कम होने से जिले भर में भूजल स्तर गहराने की आशंका है। वर्तमान में 400 से 450 फीट पानी नीचे जा चुका है। यदि बारिश तेज नहीं हुई तो जल स्तर गहराने की और आशंका है। कृषि विभाग के सहायक निदेशक केसी मीणा बताते हैं कि फसलों के लिए पांच सौ से लेकर छह सौ एमएम औसत वर्षा ठीक मानी जाती है। उन्होंने बताया कि कम बारिश से फसल का उत्पादन प्रभावित होगा।
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