पुस्तकें और पुस्तक समीक्षा

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पिथौरागढ़ एवं चम्पावत का सूर्य स्थापत्य
Posted on 13 Mar, 2019 09:11 PM
जिला पिथौरागढ़ एवं चम्पावत के अन्तर्गत जहाँ कहीं भी सूर्य मन्दिर एवं प्रतिमाएँ प्रकाश में आई हैं, उनका सार संक्षेप इस लेख के माध्यम से प्रस्तुत किया जा रहा है। कुमाऊँ में मोस्टी बकौड़ा सूर्य प्रतिमा अभिलेख युक्त है। अभिलेख प्रतिमा के प्रभामण्डल में लिखा गया है। राम सिंह इस प्रतिमा अभिलेख को 7वीं सदी का मानते हैं । परन्तु भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग 8वीं
Sun Temple
मेरे बचपन की गंगावली
Posted on 09 Mar, 2019 08:25 PM

बचपन तो बचपन ही होता है चाहे वह किसी भी परिवेश में बीता हो। बचपन की यादों की बारात भी लम्बी होती है। सरयू और रामगंगा के मध्य में बसे गंगावली क्षेत्र यानी परगना गंगोलीहाट में पट्टी बेल के 105 और भेरंग के 95 गाँव शामिल हुआ करते थे। वर्तमान गंगोलीहाट बाजार को तब जान्धवी (अपभ्रंश में जान्धबि) कहा जाता था। जान्धवी नौले का जल गंगा के समान पवित्र और निर्मल माना

महाकाली मन्दिर गंगोलीहाट
मेरी यादों का दार्चुला
Posted on 06 Mar, 2019 11:34 AM
मेरा जन्म 24 दिसम्बर, 1941 में नेपाल के छोटे से गाँव दार्चुला में हुआ। मेरी माँ का नाम स्व. श्रीमती पदी देवी ऐतवाल और पिता का स्व.
उत्तराखण्ड
संसाधनों के परिप्रेक्ष्य में साहित्य का पुनरावलोकन
Posted on 01 Mar, 2019 05:42 PM

संसाधन मानव विकास का पर्याय बन चुका है। सभ्यता के विकास के साथ-साथ संसाधनों में भी विकास हुआ है। मनुष्य संसाधन जुटाने में नई तकनीकों का उपयोग करने लगे हैं। भौगोलिक स्थलाकृति एवं वातावरण, संसाधन की मात्रा एवं गुणवत्ता को नियंत्रित करती रही है। परन्तु वर्तमान परिप्रेक्ष्य में संसाधन की मात्रा एवं गुणवत्ता मानवीय उपयोग पर आधारित है। परिणामस्वरूप जहाँ एक ओर स

राजस्थान जल संचयन
मेरा पिथौरागढ़
Posted on 01 Mar, 2019 01:28 PM
उस समय मैंने जवानी की दहलीज में कदम रखा ही था। पिता का स्थानान्तरण चमोली के जनजातीय सीमान्त से कुमाऊँ के सीमान्त मुनस्यारी हो गया था। यह पिथौरागढ़ को छूने का मेरा पहला मौका था। बागेश्वर से कपकोट पैदल सामाधूरा से होकर परिवार चला जा रहा था। सारे रास्ते मुझे नीती घाटी वाले ही लग रहे थे। यहाँ बस नाम बदले थे –सामाधुरा, तेजम, गिरगाँव। बड़े-बड़े कुत्तों से बच रहा थ
गंगोलीहाट, पिथौरागढ़
प्रथम अध्याय: अलवर में जल संकट की चुनौतियों से परिचय
Posted on 27 Feb, 2019 11:53 AM
संसाधन की परिभाषा मुख्य रूप से तीन कारकों पर आधारित है- मानव, पृथ्वी पर पाए जाने वाले सभी तत्व एवं उनका समुचित उपयोग। भूगोल में मुख्य तौर पर शोध का विषय भौतिक एवं मानव भूगोल पर आधारित होता है। हम्बोल्ट महोदय ने जहाँ एक ओर भौतिक भूगोल पर अपना पक्ष रखा वहीं रिटर महोदय ने मानव भूगोल पर अपना शोध प्रकट किया। इन दोनों शाखाओं को जोड़ने का श्रेय पर्यावरणीय अध्ययन को
राजस्थान में जल संरक्षण
बचपन की छवियाँ
Posted on 25 Feb, 2019 12:14 PM
इजा कहती हैं कि मैं जब पेट में था तो कभी स्थिर नहीं रहा। जब मैं नौ महीने बीत जाने पर भी पैदा नहीं हुआ तो घर में घबराहट शुरू हो गई। पिता जी कहा करते थे कि इस बार भागा की मतारी का बचना मुश्किल ही है। लेकिन मैं हुआ 11वें महीने में और माँ भी बच गई। अब भी इजा कहती है, इस बैरी ने पेट से ही दुःख दिया। दो और चार वर्ष की अवस्था में मैं, बुरी तरह से जला लेकिन बच गया।
गोविंद सिंह
मेरा सोर - कुछ यादें
Posted on 23 Feb, 2019 11:36 AM
व्यापार के सिलसिले में पिताजी काली कुमाऊँ से वड्डा आये। मेरा जन्म वड्डा में हुआ फिर पिताजी ने कुछ सम्पत्ति पिथौरागढ़ में भी ली। प्रारम्भिक शिक्षा पिथौरागढ़ (तिलढुकरी) में शुरू हुई। बड़े भाई की असामयिक मृत्यु के बाद परिवार पिथौरागढ़ की सम्पत्ति बेचकर वड्डा चला गया। वहाँ समीप के चौपखिया प्राइमरी स्कूल से पढ़ाई का सिलसिला चला। तब परगना सोर अल्मोड़ा जिले के अन्त
पुराना पिथौरागढ़ (सोर) का दृश्य
कला का बदलता स्वरूप
Posted on 22 Feb, 2019 05:18 PM

वाल्मीकि टाइगर रिजर्व (फोटो साभार - द टेलीग्राफ)वन्यजीवों व पर्यावरण को लेकर सरकारी तंत्र की गम्भीरता जगजाहिर है। इस देश ने ‘विकास’ के लिये वन्यजीवों व पर्यावरण के साथ खिलवाड़ हर दौर में देखा है और अब भी गाहे-ब-गाहे दिख ही जाता है।

देवलालीकर
मेरे हिस्से का पिथौरागढ़
Posted on 22 Feb, 2019 01:23 PM

फ्लोरोसिस (फोटो साभार - छत्तीसगढ़ की आवाज) इनरेम फाउंडेशन द्वारा नीति आयोग के समक्ष प्रस्तुत की गई मिशन की एक झलक

मुख्य बिंदु:

- पानी की खराब गुणवत्ता और उससे पैदा होने वाली बीमारियों से लड़ने के लिये एक राष्ट्रीय कार्यक्रम

नैन सिंह ऐर
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