बीबीसी

बीबीसी
कावेरी विवाद आख़िर है क्या?
Posted on 19 Sep, 2008 05:29 PM

कावेरी विवाद

बीबीसी/ भारतीय संविधान के मुताबिक कावेरी एक अंतर्राज्यीय नदी है। कर्नाटक और तमिलनाडु इस कावेरी घाटी में पड़नेवाले प्रमुख राज्य हैं। इस घाटी का एक हिस्सा केरल में भी पड़ता है और समुद्र में मिलने से पहले ये नदी कराइकाल से होकर गुजरती है जो पांडिचेरी का हिस्सा है। इस नदी के जल के बँटवारे को लेकर इन चारों राज्यों में विवाद का एक लम्बा इतिहास है।

कावेरी विवाद तमिलनाडु से कर्नाटक तक फैला हुआ है
क्योटो संधि पर अमल क्यों नहीं हो रहा?
Posted on 31 Jul, 2011 11:34 AM
क्योटो संधि के तहत औद्योगिक देश ग्रीन हाउस गैसों से होने वाले प्रदूषण को ख़त्म करने के लिए प्रतिबद्ध हैं.

इसके अनुसार इन देशों के इन गैसों, विशेष तौर पर कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा को अगले दस साल में 5.2 प्रतिशत के स्तर से नीचे लाना है. इन गैसों को जलवायु के परिवर्तन के लिए दोषी माना जाता है.

अमरीका अड़ा

क्या है क्योटो संधि?
Posted on 31 Jul, 2011 11:22 AM
पर्यावरण के संबंध में 1992 में एक समझौते के तहत कुछ मानदंड निर्धारित किए गए थे जिनके आधार पर 1997 में क्योटो संधि हुई.

फिर इस संधि के प्रावधानों में कुछ फेरबदल करने के बाद इसे 2002 में जर्मनी में जलवायु पर हुई वार्ता के दौरान अंतिम रूप दिया गया. इस संधि के तहत औद्योगिक देश ग्रीन हाउस समूह की गैसों से होने वाले प्रदूषण को ख़त्म करने के लिए प्रतिबद्ध हैं.
कोप 0011 : मॉन्ट्रियाल सम्मेलन से कोई उम्मीद नहीं - सुनीता नारायण
Posted on 31 Jul, 2011 11:11 AM
सुपरिचित पर्यावरणविद सुनीता नारायण का कहना है कि जलवायु परिवर्तन पर मॉन्ट्रियल में होने वाले सम्मेलन से भारत जैसे विकासशील देशों के लिए कोई उम्मीद नहीं है.

उनका कहना है कि विकसित देशों ने विकास के ग़लत तरीक़ों से दुनिया के पर्यावरण को चौपट कर दिया लेकिन अब वे भारत और चीन जैसे देशों पर दबाव डालना चाहते हैं कि वे सब कुछ ठीक करें.
तालाब पहुंचा रहे हैं भूजल तक ज़हर
Posted on 13 Dec, 2009 07:39 AM

एक नए शोध का कहना है कि बांग्लादेश के तालाब लाखों लोगों तक आर्सेनिक का ज़हर पहुंचाने के ज़िम्मेदार हैं.शोध का कहना है कि तालाबों में मौजूद आर्सेनिक ज़हर भूमिगत जल को भी प्रदूषित कर रहा है.

आर्सेनिक का प्रदूषण तालाबों से भूजल तक पहुंच रहा है.
टाटा का 'स्वच्छ' पानी
Posted on 09 Dec, 2009 06:53 AM

ग्रामीण इलाक़ों को ध्यान में रखते हुए भारतीय कंपनी टाटा एक नया 'वाटर प्यूरिफायर' बाज़ार में लेकर आई है.

इस वाटर प्यूरिफायर का नाम 'स्वच्छ' रखा गया है. एक मीटर से भी कम ऊँचाई वाले इस फ़िल्टर की क़ीमत एक हज़ार रुपए से भी कम होगी.

टाटा एक नया 'वाटर प्यूरिफायर'
×