नई दिल्ली (विशेष रिपोर्ट) बड़े पैमाने पर सफाई व खुले में शौच करने की प्रवृत्ति को खत्म करने के अभियान में लगी नरेन्द्र मोदी की सरकार वास्तव में देश में शौचालयों के निर्माण में पिछली केन्द्र व राज्य सरकारों से काफी पीछे है।
पेयजल एवं स्वच्छता मन्त्रालय की वेबसाइट sbm.gov.in पर उपलब्ध आँकड़ों के अनुसार नरेन्द्र मोदी की सरकार ने इस वित्त वर्ष में 26.5 लाख शौचालय बनवाए हैं। यह संख्या मनमोहन सिंह के कार्यकाल अप्रैल 2013 से मार्च 2014 के बीच बनाए गए शौचालयों की संख्या से करीब आधी है।
पिछली सरकार की बराबरी करने के लिए प्रतिदिन बनवाने होंगे 35,000 शौचालय
इस वित्त वर्ष में अभी लगभग 3 महीने शेष हैं। मोदी सरकार को पिछली सरकार की बराबरी करने के लिए करीब 30 लाख शौचालय बनवाने होंगे। इसका मतलब यह हुआ कि यदि नरेन्द्र मोदी सरकार को मनमोहन सरकार की बराबरी करनी है तो प्रतिदिन करीब 35,000 शौचालय बनवाने होंगे। एक बात यह भी है कि खुले में शौच की प्रवृत्ति को रोकने के लिए विपक्षी राज्य सरकारें भाजपा शासित राज्य सरकारों के मुकाबले अधिक शौचालय बनवा रही हैं।
देश में करीब 60 करोड़ लोग खुले में शौच करते हैं। मोदी सरकार द्वारा देश को स्वच्छ बनाने का अभियान अक्टूबर में शुरू किया गया था। लोगों में जागरूकता पैदा करने के लिए मोदी सरकार ने स्वच्छ भारत अभियान से बड़ी हस्तियों को जोड़ा है तथा प्रचार अभियान में काफी खर्च कर रही है। पेयजल व स्वच्छता मन्त्रालय ने वर्ष 2014-2015 में स्वच्छ भारत अभियान के तहत 3.8 लाख शौचालय बनवाए हैं।
2012 से 2015 के बीच बनाए गए शौचालयों की संख्या
वर्ष | संख्या |
2012-13 | 45.8 |
2013-14 | 55.7 |
2014-15 | 26.6 |
पश्चिम बंगाल की ममता बनर्जी सरकार ने 80,000 शौचालय बनवाए हैं जो कि देश के सभी राज्यों से सबसे ज्यादा हैं। पिछले साल कांग्रेस शासित कर्नाटक में 50,041 नए शौचालय बनाए गए हैं। गैर-भाजपा शासित सरकारें जैसे कि उत्तर प्रदेश व तमिलनाडु में विभिन्न योजनाओं के तहत पिछले वर्षों में 5.13 लाख से अधिक शौचालय बनाए गए हैं। इसके साथ ही इन 4 राज्यों ने अब देश में कुल बनाए गए शौचालयों में से 45 प्रतिशत शौचालय बनाए हैं।
2014-15 में विभिन्न योजनाओं के तहत बनाए गए शौचालय
योजनाओं का नाम | शौचालय संख्या |
स्वच्छ भारत मिशन | 3,81,688 |
निर्मल भारत अभियान(एनबीए) | 9,80,115 |
मनरेगा और इन्दिरा आवास योजना | 10,69,066 |
एनबीए के बिना मनरेगा | 49,029 |
ऩॉन एनबीए | 1,80,575 |
भाजपा शासित राज्यों जैसे कि राजस्थान, मध्य प्रदेश और गुजरात की सरकारों ने 25 प्रतिशत यानी 6.56 लाख नए शौचालय बनाए हैं। गोवा में इस साल कोई भी नया शौचालय नहीं बनाया गया है।
भारत में स्वच्छता संकट
भारत में डायरिया व दिमागी बुखार जैसी अन्य बीमारियाँ खुले में शौच करने के कारण होती हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाएँ घर से बाहर खुले में शौच करने के लिए जाती हैं जिससे वे हमलों का शिकार हो जाती हैं। पिछले साल उत्तर प्रदेश के बदायूँ में शौच के लिए गई दो लड़कियो की दुष्कर्म के बाद हत्या कर दी गई थी। गाँवों में अधिकतर गरीब महिलाएँ शौच के लिए अन्धेरे में ही जाती हैं।
2014-15 में विभिन्न प्रदेशों में बनाए गए शौचालयों की संख्या
राज्य | शौचालय संख्या |
कर्नाटक | 3,68,071 |
पश्चिम बंगाल | 3,22,600 |
मध्य प्रदेश | 3,13,879 |
उत्तर प्रदेश | 2,94,235 |
तमिलनाडु | 2,18,773 |
राजस्थान | 2,03,844 |
गोवा | 0 |
प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी ने कॉर्पोरेट घरानों से देश में शौचालय बनाने की योजनाओं में सहयोग की अपील की है। सरकार को आशा है कि वर्ष 2019 तक 1.11 अरब शौचालय बनाने के लिए दो लाख करोड़ रुपए की आवश्यकता होगी। मोदी को खुले में शौच की प्रवृत्ति को रोकने के लिए काफी कुछ करना होगा।
साभार : नवोदय टाइम्स 19 जनवरी 2015
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