भूजल

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Explore various groundwater recharge methods to sustainably replenish groundwater levels. Learn about innovative techniques and best practices for groundwater conservation.

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July 15, 2024 Kritsnam where engineering meets hydrology, founded by K. Sri Harsha focuses on developing accurate, easy to install, tamper-proof, and weather-proof smart water metering solutions to deal with the growing water crisis in India.
An AI generated image, highlighting water shortage and use of tankers to provide water but water being wasted when available (Image Source: Praharsh Patel)
July 2, 2024 Community governance for groundwater management
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May 15, 2024 बेहिसाब भूजल दोहन भूकंप के खतरे को विनाशकारी बना देगा। हाल फिलहाल के दो अध्ययन हमारे लिए खतरे का संकेत दे रहे हैं। एक अध्ययन पूर्वी हिमालयी क्षेत्र में भूकंप के आवृत्ति और तीब्रता बढ़ने की बात कर रहा है। तो दूसरा भूजल का अत्यधिक दोहन से दिल्ली-NCR क्षेत्र के कुछ भाग भविष्य में धंसने की संभावना की बात कर रहा है। दोनों अध्ययनों को जोड़ कर अगर पढ़ा जाए तस्वीर का एक नया पहलू सामने आता है।
भूजल का अत्यधिक दोहन
पंचायत समिति बाड़मेर की भूजल स्थिति
Posted on 16 Nov, 2015 01:02 PM
पंचायत समिति, बाड़मेर (जिला बाड़मेर) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बाड़मेर जिले में 13692 मिलियन घनमीटर थी जो अब घटकर 11502 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल अतिदोहन के कारण पानी की कमी गम्भीर समस्या बन गई है।
पंचायत समिति तलवाड़ा की भूजल स्थिति
Posted on 16 Nov, 2015 11:07 AM
पंचायत समिति, तलवाड़ा (जिला बांसवाड़ा) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांसवाड़ा जिले में 162.5049 मिलियन घनमीटर थी जो अब 213.1823 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल का नियोजित दोहन कर पानी की कमी दूर किया जा सकता है।
पंचायत समिति सज्जनगढ़ की भूजल स्थिति
Posted on 16 Nov, 2015 11:05 AM
पंचायत समिति, सज्जनगढ़ (जिला बांसवाड़ा) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांसवाड़ा जिले में 162.5049 मिलियन घनमीटर थी जो अब 213.1823 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल का नियोजित दोहन कर पानी की कमी दूर किया जा सकता है।
पंचायत समिति कुशलगढ़ की भूजल स्थिति
Posted on 16 Nov, 2015 11:03 AM
पंचायत समिति, कुशलगढ़ (जिला बांसवाड़ा) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांसवाड़ा जिले में 162.5049 मिलियन घनमीटर थी जो अब 213.1823 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल का नियोजित दोहन कर पानी की कमी दूर किया जा सकता है।
पंचायत समिति घाटोल की भूजल स्थिति
Posted on 16 Nov, 2015 10:59 AM
पंचायत समिति, घाटोल (जिला बांसवाड़ा) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांसवाड़ा जिले में 162.5049 मिलियन घनमीटर थी जो अब 213.1823 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल का नियोजित दोहन कर पानी की कमी दूर किया जा सकता है।
पंचायत समिति गढ़ी की भूजल स्थिति
Posted on 16 Nov, 2015 10:58 AM
पंचायत समिति, गढ़ी (जिला बांसवाड़ा) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांसवाड़ा जिले में 162.5049 मिलियन घनमीटर थी जो अब 213.1823 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल का नियोजित दोहन कर पानी की कमी दूर किया जा सकता है।
पंचायत समिति छोटी सरवन की भूजल स्थिति
Posted on 16 Nov, 2015 10:56 AM
पंचायत समिति, छोटी सरवन (जिला बांसवाड़ा) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांसवाड़ा जिले में 162.5049 मिलियन घनमीटर थी जो अब 213.1823 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल का नियोजित दोहन कर पानी की कमी दूर किया जा सकता है।
पंचायत समिति बागीदौरा की भूजल स्थिति
Posted on 15 Nov, 2015 04:18 PM
पंचायत समिति, बागीदौरा (जिला बांसवाड़ा) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांसवाड़ा जिले में 162.5049 मिलियन घनमीटर थी जो अब 213.1823 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल का नियोजित दोहन कर पानी की कमी दूर किया जा सकता है।
पंचायत समिति आनन्दपुरी की भूजल स्थिति
Posted on 15 Nov, 2015 04:16 PM
पंचायत समिति, आनन्दपुरी (जिला बांसवाड़ा) सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांसवाड़ा जिले में 162.5049 मिलियन घनमीटर थी जो अब 213.1823 मिलियन घनमीटर हो गई है। भूजल का नियोजित दोहन कर पानी की कमी दूर किया जा सकता है।
पंचायत समिति अटरू की भूजल स्थिति
Posted on 15 Nov, 2015 04:08 PM
पंचायत समिति, अटरू (जिला बांरा) अतिदोहित (डार्क) श्रेणी में वर्गीकृत

हमारे पुरखों ने सदियों से बूँद-बूँद पानी बचाकर भूजल जमा किया था। वर्ष 2001 में भूजल की मात्रा बांरा जिले में 497 मिलियन घनमीटर थी जो अब घटकर 495 मिलियन घनमीटर रह गई है। भूजल अतिदोहन के कारण पानी की कमी गम्भीर समस्या बन गई है।
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