प्रो. रामाश्रय प्रसाद सिंह

प्रो. रामाश्रय प्रसाद सिंह
ज्वालामुखी
Posted on 01 Dec, 2016 12:56 PM

ज्वालामुखी का तात्पर्य उस छिद्र अथवा दरार से होता है जिसका संबंध पृथ्वी के आंतरिक भाग से होता है एवं जिसके माध्यम से तप्त लावा, गैस तथा अन्य पदार्थ धरती के ऊपर आ जाते हैं। ज्वालामुखी क्रिया के अंतर्गत मैग्मा के निकलने से लेकर धरातल या इसके अंदर विभिन्न रूपों में इसके ठंडा होने की प्रक्रिया होती है।

ज्वालामुखी के प्रकार


ज्वालामुखी का वर्गीकरण के अनेक आधार हैं :
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