Posted on 19 Aug, 2014 01:12 AMभारत सरकार की ओर से हर नागरिक को शुद्ध पेयजल एवं स्वच्छ वातावरण मुहैया कराने की कोशिश की जा रही है, लेकिन यह कोशिश तभी परवान चढ़ पाएगी जब आम आदमी इसमें सहयोग करे। शुद्ध पानी को निरंतर हासिल करने के लिए हमें परंपरागत जल स्रोतों को भी शुद्ध रखना होगा। यदि परंपरागत जलस्रोतों को भुला दिया गया तो आने वाले समय में दोहरी चुनौतियों से जूझना होगा क्योंकि भारत में 60 फीसदी से ज्यादा बीमारियां अशुद्ध पानी